भोपाल। मध्यप्रदेश में बीजेपी-कांग्रेस के विधायकों को लोकसभा का टिकट नहीं मिलेगी। टिकट वितरण को लेकर शुरू हुए मंथन के शुरूआती दौर में ही दोनों दलों ने अपनी ये गाइड लाइन तय कर ली है। यानी लोकसभा के टिकट को लेकर वर्तमान विधायकों के नामों पर चर्चा तक नहीं होगी।
दोनों पार्टियों ने अपने विधायकों को इस संबंध में सचेत भी कर दिया है कि कोई भी विधायक लोकसभा का टिकट न मांगे। दरअसल बीजेपी के साथ कांग्रेस ने ये फैसला विधानसभा में स्पष्ट बहुमत नहीं होने के कारण लिया है। क्योंकि दोनों दलों के लिए एक-एक विधानसभा सीट महत्वपूर्ण बनी हुई है। ऐसे में कोई भी पार्टी अपनी जीती हुई विधानसभा पर उपचुनाव कराना नहीं चाहती।
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ऐसे में यदि कोई विधायक सांसद बना तो उसकी सीट पर उपचुनाव कराना पड़ेगा। हालांकि इस फैसले से मंत्री की दौड़ में शामिल कांग्रेस विधायकों में निराशा है। क्योंकि ऐसे विधायक अब सांसद बनने की चाह रख रहे थे। इधर, बीजेपी का कहना है कि हम चाहते हैं कि विधायक विधानसभा में अपना परफॉर्मेंस दिखाएं, तो कांग्रेस का कहना है कि इस संबंध में फैसला हाईकमान ही लेगा।