विदेश मंत्री जयशंकर ने कतर के विदेश मंत्री से द्विपक्षीय सहयोग पर चर्चा की

विदेश मंत्री जयशंकर ने कतर के विदेश मंत्री से द्विपक्षीय सहयोग पर चर्चा की

विदेश मंत्री जयशंकर ने कतर के विदेश मंत्री से द्विपक्षीय सहयोग पर चर्चा की
Modified Date: November 29, 2022 / 07:58 pm IST
Published Date: June 15, 2021 10:15 am IST

दोहा, 15 जून (भाषा) विदेश मंत्री एस जयशंकर ने मंगलवार को कतर के अपने समकक्ष मोहम्मद बिन अब्दुलरहमान अल-थानी के साथ मुलाकात के दौरान द्विपक्षीय सहयोग पर चर्चा के साथ ही क्षेत्रीय मुद्दों पर अपना नजरिया साझा किया। यह एक हफ्ते के अंदर इस अहम खाड़ी देश में भारतीय विदेश मंत्री की दूसरी यात्रा है।

जयशंकर ने केन्या के शीर्ष नेतृत्व के साथ हिंद-प्रशांत क्षेत्र में सुरक्षा स्थिति समेत वैश्विक और क्षेत्रीय मुद्दों पर चर्चा करने के एक दिन बाद दोहा में मोहम्मद से मुलाकात की जो कतर के उप प्रधानमंत्री भी हैं।

उन्होंने एक ट्वीट में कहा, “दोहा में आज कतर के उप प्रधानमंत्री व विदेश मंत्री मोहम्मद बिन अब्दुलरहमान अल-थानी के साथ अच्छी मुलाकात हुई। कोविड की दूसरी लहर के दौरान कतर द्वारा प्रदर्शित एकजुटता की सराहना की। हमारे द्विपक्षीय सहयोग पर चर्चा की तथा क्षेत्रीय मुद्दों पर अपने मत साझा किए।”

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जयशंकर पूर्वी अफ्रीकी देश के साथ भारत के रिश्तों को और मजबूती देने के लिये शनिवार को तीन दिवसीय यात्रा पर केन्या पहुंचे थे। उन्होंने केन्या के राष्ट्रपति उहुरू केन्याटा से मुलाकात की और उन्हें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का एक पत्र सौंपा।

केन्या के दौरे से पहले जयशंकर अपने पहले द्विपक्षीय दौरे पर बृहस्पतिवार को कुवैत पहुंचे थे।

उन्होंने अपने कुवैती समकक्ष शेख अहमद नासिर अल-मोहम्मद अल-सबा से बृहस्पतिवार को “उपयोगी चर्चा” की और इस दौरान दोनों पक्षों ने स्वास्थ्य, खाद्य, शिक्षा, ऊर्जा, डिजिटल और कारोबारी सहयोग समेत विभिन्न मुद्दों पर चर्चा की।

कुवैत के रास्ते में जयशंकर कुछ वक्त के लिये नौ जून को दोहा में रुके थे।

जयशंकर ने बुधवार नौ जून को कतर के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार मोहम्मद बिन अहमद अल मसनद से मुलाकात की और कोविड-19 महामारी के खिलाफ भारत की लड़ाई में खाड़ी देश के सहयोग देने तथा एकजुटता जताने के लिए उनका आभार जताया।

इस मुलाकात के बाद जयशंकर ने ट्वीट किया था, ‘‘कतर के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार मोहम्मद बिन अहमद अल मसनद से मिलकर प्रसन्नता हुई। क्षेत्र में तथा उसके आगे विकास पर उनके विचारों की सराहना करता हूं। कोविड-19 के खिलाफ भारत की लड़ाई में सहयोग देने तथा एकजुटता जताने के लिए उनका आभार।’’

भाषा

प्रशांत मनीषा

मनीषा


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