इजराइल-हमास युद्ध विराम की अवधि दो और दिन बढ़ाई गई |

इजराइल-हमास युद्ध विराम की अवधि दो और दिन बढ़ाई गई

इजराइल-हमास युद्ध विराम की अवधि दो और दिन बढ़ाई गई

:   Modified Date:  November 28, 2023 / 04:45 PM IST, Published Date : November 28, 2023/4:45 pm IST

तेल अवीव, 28 नवंबर (एपी) बंधक बनाए गए और लोगों को छोड़े जाने के हमास के वादे के बीच इजराइल के साथ उसका युद्ध विराम समझौता पांचवें दिन मंगलवार को जारी रहा।

हमास द्वारा बंधक बनाकर रखे गए लोगों और इजराइल की जेलों में बंद फलस्तीनी कैदियों की अदला-बदली के दो और दौर के वादे के साथ दोनों पक्ष युद्ध विराम समझौते की अवधि को बुधवार तक बढ़ाने पर सहमत हुए लेकिन इजराइल ने साथ ही कहा है कि सभी बंधकों की रिहाई के बाद वह हमास को नष्ट करने के लिए ‘‘पूरी ताकत’’ के साथ युद्ध बहाल करेगा।

गाजा में युद्ध विराम समझौते की अवधि दो दिन बढ़ाए जाने के बाद इसमें और विस्तार की उम्मीदें पैदा होने के बीच अमेरिका के विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन इस सप्ताह पश्चिम एशिया का पुन: दौरा करेंगे। इजराइल और हमास के बीच पिछले महीने युद्ध शुरू होने के बाद से यह ब्लिंकन का क्षेत्र में तीसरा दौरा होगा।

संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस ने सोमवार को एक बयान जारी कर दीर्घकालिक युद्ध विराम और सभी बंधकों की रिहाई की अपील दोहराई।

हमास और अन्य आतंकवादियों के कब्जे में अब भी करीब 160 बंधक होने की आशंका है और यह संख्या कतर, मिस्र और अमेरिका की मध्यस्थता से हुए युद्धविराम समझौते की अवधि को संभवत: दो सप्ताह तक बढ़ाने के लिए पर्याप्त है लेकिन इन बंधकों में कई सैनिक शामिल हैं और हमास उनकी रिहाई के एवज में अपनी मांग बढ़ा सकता है। हमास ने इजराइल पर सात अक्टूबर को अप्रत्याशित हमला कर करीब 240 लोगों को बंधक बना लिया था।

इजराइल का कहना कि वह उस पर हमास द्वारा किए गए सात अक्टूबर के हमले के बाद से इस आतंकवादी समूह को नष्ट करने और गाजा में उसके 16 साल के शासन को समाप्त करने के लिए प्रतिबद्ध है। उसने गाजा पर आवासीय इलाकों में अपनी कार्रवाई के दौरान हमास पर आम नागरिकों का ढाल की तरह इस्तेमाल करने का आरोप लगाया है।

हमास ने शुक्रवार से लागू हुए मूल रूप से चार दिवसीय युद्ध विराम समझौते के तहत अदला-बदली के चौथे दौर में 11 इजराइली महिलाओं एवं बच्चों को रिहा किया, जो सोमवार रात को इजराइल पहुंचे। इजराइल द्वारा रिहा किए गए 33 फलस्तीनी कैदी मंगलवार तड़के वेस्ट बैंक के रामल्ला में पहुंचे।

कतर ने युद्ध विराम समझौते की अवधि को दो और दिन बढ़ाए जाने की घोषणा की है, जिससे इसके और आगे बढ़ने की उम्मीदें पैदा हो गई हैं। इसके कारण गाजा में और मदद पहुंचाई जा सकेगी। इजराइली बमबारी और जमीनी हमले के कारण फलस्तीन के 23 लाख लोग बुरी तरह प्रभावित हुए हैं ।

इजराइल ने कहा है कि प्रत्येक अतिरिक्त 10 बंधकों की रिहाई के लिए युद्ध विराम की अवधि को एक दिन आगे बढ़ाया जा सकता है। अमेरिका और मिस्र के अलावा संघर्ष में अहम मध्यस्थ कतर ने ‘‘इसी शर्त के तहत’’ दो और दिन के विस्तार पर सहमति बनने की घोषणा की।

युद्ध विराम समझौते के तहत 51 इजराइली बंधकों एवं अन्य देशों के 19 बंधकों को रिहा किया जा चुका है। इसके अलावा इजराइली जेलों से 150 फलस्तीनियों को रिहा किया गया है।

अब तक रिहा किए गए फलस्तीनी कैदियों में अधिकतर किशोर हैं जिन पर इजराइली बलों के साथ टकराव के दौरान पत्थर और बम फेंकने का आरोप है। इनमें से कुछ लोगों को इजराइली अदालतों ने घातक हमले करने का प्रयास करने का दोषी ठहराया था। बड़ी संख्या में फलस्तीनी इन कैदियों को कब्जे का विरोध करने वाले नायकों के रूप में देखते हैं।

मुक्त कराए गए अधिकतर बंधक शारीरिक रूप से स्वस्थ लग रहे हैं, लेकिन रविवार को रिहा की गई 84 वर्षीय एक महिला को गंभीर हालत में अस्पताल में भर्ती कराया गया था क्योंकि कैद में उसे दवा नहीं मिल पाई थी।

हमास द्वारा छोड़ी गई इजराइली बंधक रूती मुंदर (78) ने इजराइल के ‘चैनल 13’ को एक साक्षात्कार में बताया कि उसे शुरुआत में अच्छी तरह खाना दिया गया लेकिन बाद में हालात बिगड़ने लगे और उसे एक बंद कमरे में रखा गया जहां वह करीब 50 दिन तक प्लास्टिक की कुर्सियों पर एक चादर बिछाकर सोई।

मुंदर ने बताया कि उन्होंने अपना पूरा वक्त अपनी बेटी केरेन और नाती ओहाद मुंदर-जिचरी के साथ बताया। इसी दौरान ओहाद का नौवां जन्मदिन पड़ा। मुंदर को सात अक्टूबर को दक्षिण इजराइल के निर ओज में उनके घर से घसीटकर ले जाया गया। उनके पति अव्राहम (78) को भी बंधक बना लिया गया और वह गाजा में ही हैं। उनके बेटे की हमले में मौत हो गई।

मुंदर ने टेलीविजन चैनल को बताया कि शुरुआत में उन्हें चावल के साथ चिकन, डिब्बाबंद खाना और चीज़ खाने को दिया गया।

उन्होंने बताया कि सुबह और शाम उन्हें चाय दी जाती थी और बच्चों को मिठाइयां दी जाती थीं। मुंदर के अनुसार, ‘‘हालांकि बाद में आर्थिक हालात बिगड़ने लगे और खान-पान की चीजों में भी बदलाव हो गया।’’

जंग शुरू होने के बाद से इजराइल ने गाजा पर नकेल कस रखी है जिसके बाद वहां खाने की चीजों, ईंधन और अन्य बुनियादी वस्तुओं की कमी हो गई है।

मुंदर के अनुसार उन्हें जिस कमरे में रखा गया था, वह ‘दमघोंटू’ था और बंधकों को रोशनदान खोलने से रोक दिया जाता था, लेकिन वह एक खिड़की खोलने में कामयाब रहीं।

इजराइल के दो टीवी चैनलों ने दिखाया कि गाजा में हमास के शीर्ष नेता याहिया सिनवार ने एक सुरंग में बंधकों से मिलकर उन्हें आश्वासन दिया कि उन्हें नुकसान नहीं पहुंचाया जाएगा।

युद्ध विराम के बीच गाजा सिटी और उत्तरी हिस्सों में रह रहे लोग अपने घरों से बाहर निकले और उन्होंने इजराइली युद्ध में मारे गए अपने संबंधियों को ढूंढकर उनके शव दफनाए। उत्तरी गाजा की फुटेज में दिख रहा है कि करीब हर इमारत क्षतिग्रस्त या नष्ट हो गई है।

संयुक्त राष्ट्र के नेतृत्व वाले एक संघ का अनुमान है कि पूरे गाजा में 2,34,000 से अधिक मकान क्षतिग्रस्त हो गए हैं और 46,000 मकान पूरी तरह से नष्ट हो गए हैं। इजराइली बमबारी और जमीनी हमले के कारण फलस्तीन के 23 लाख लोग बुरी तरह प्रभावित हुए हैं।

गाजा शासित हमास के स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि युद्ध शुरू होने के बाद से 13,300 से अधिक फलस्तीनी मारे जा चुके हैं, जिनमें करीब दो तिहाई महिलाएं एवं नाबालिग हैं। इस हमले में इजराइल के 1,200 लोग मारे गए हैं। इनमें अधिकतर लोगों की मौत सात अक्टूबर को हमास के शुरुआती हमले में हुई।

एपी सिम्मी मनीषा

मनीषा

 

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