नई दिल्ली। वर्ल्ड बैंक ने भारत को एक और झटका दिया है। रविवार को मौजूदा वित्त वर्ष में वर्ल्ड बैंक ने भारत के विकास दर का अनुमान कम कर दिया है। इस अनुमान से केंद्र सरकार को झटका लग सकता है। वर्ल्ड बैंक के मुताबिक, मौजूदा वित्त वर्ष में भारत की विकास दर 6 फीसदी रह सकती है। बता दें कि साल 2018-19 में वृद्धि दर 6.9 फीसदी थी। अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष यानि IMF के साथ सालाना बैठक के बाद विश्व बैंक ने अनुमान जताया है कि भारत एक साल के बाद फिर कम बैक करेगा, साल 2021 में भारत की विकास दर पुन 6.9 फीसदी पर आ सकती है। वर्ल्ड बैंक के मुताबिक 2022 में इसमें और भी सुधार हो सकता है। साल 2022 में भारत की विकास दर 7.2 फीसदी पर रहने का अनुमान वर्ल्ड बैंक ने जताया है।
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वर्ल्ड बैंक ने कहा है कि लगातार दूसरे साल भारत की आर्थिक वृद्धि दर में कम हो सकती है। बता दें कि 2017-18 में भारत की विकास दर 7.2 फीसदी थी। उत्पादन और विनिर्माण बढ़ने से औद्यौगिक उत्पादन बढ़कर 6.9 फीसदी हो गई। वहीं कृषि और सेवा विभाग में बढ़त 2.9 फीसदी और 7.5 फीसदी तक रही है।
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आने वाले दो दिनों में यानि 15 अक्तूबर को IMF चालू और अगले वर्ष के लिए अपने वृद्धि दर अनुमान के आधिकारिक संशोधित आंकड़े जारी करेगा। बता दें कि अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष ने वित्त वर्ष 2019-20 के लिए भारत की विकास दर के अनुमान को घटाया था। IMF ने वित्त वर्ष 2019-20 में आर्थिक विकास दर 7 रहने की उम्मीद जताई है।
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मौजूदा विकास दर में कमी आने से केंद्र सरकार की देश को 5 बिलियन इकोनॉमी बनाने के प्रयास को झटा लग सकता है। आर्थिक हालात में लगातार मंदी देखने को मिल रही है,अर्थव्यवस्था में मंदी का दौर ऐसी ही जारी रहेगी तो भविष्य में भी इसका असर देखने को मिलेगा।
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