Basant Panchami 2024 Upay: बसंत पंचमी को बन रहा दुर्लभ संयोग, पढ़ाई और करियर में तरक्की पाने के लिए करें ये उपाय |

Basant Panchami 2024 Upay: बसंत पंचमी को बन रहा दुर्लभ संयोग, पढ़ाई और करियर में तरक्की पाने के लिए करें ये उपाय

Edited By :   Modified Date:  February 6, 2024 / 05:25 PM IST, Published Date : February 6, 2024/2:26 pm IST

Basant Panchami 2024 Upay: बसंत पंचमी का त्योहार, जो माँ सरस्वती पूजा को समर्पित है इस बार 14 फरवरी को मनाया जायेगा। मां सरस्वती को विद्या, संगीत, कला वाणी और ज्ञान की अधिष्ठात्री देवी माना गया है। इस वर्ष बसंत पंचमी शुभ योग में रहेगी। धर्म शास्त्रों के अनुसार भगवान श्रीगणेश शुभ योग के स्वामी हैं। इस योग का उद्देश्य विशेष अनुष्ठानों के माध्यम से सुख, सौभाग्य और वांछित परिणाम प्राप्त करना है। इस योग में देवी सरस्वती की पूजा करना भी शुभ माना जाता है।

मां सरस्वती को प्रसन्न करने के लिए अचूक उपाय

Basant Panchami 2024 Upay: प्रतिदिन पीले फूल चढ़ाकर देवी सरस्वती की पूजा करें ताकि वह आपको बुद्धि और ज्ञान का आशीर्वाद दे सकें। मां सरस्वती की पूजा के दौरान पीले फूलों का प्रयोग करने से मां प्रसन्न होकर अपनी कृपा बरसाती हैं। ऐसा इसलिए क्योंकि मां सरस्वती को पीली वस्तुएं बहुत प्रिय हैं।

हिंदू धर्म के हिस्से के रूप में, पूजा के दौरान तिलक को देवी-देवताओं को अर्पित किया जाने वाला प्रसाद माना जाता है। ऐसे में देवी सरस्वती की पूजा करते समय विशेष रूप से केसर या पीले चंदन के तिलक का प्रयोग करें। मां सरस्वती को केसरिया या पीला चंदन चढ़ाने के बाद इस चंदन को प्रसाद के रूप में अपने माथे पर धारण कर लें। कहा जाता है कि जैसे ही साधक पूजा करता है, मां सरस्वती की कृपा उस पर बरसने लगती है।

मान्यता है कि किसी भी देवी या देवता की साधना तब तक अधूरी रहती है, जब तकि उनकी पूजा में नैवेद्य न चढ़ा दिया जाए. ऐसे में मां सरस्वती का आशीर्वाद पाने के लिए उनकी पूजा में उनका मनपसंद प्रसाद यानि पीले रंग की मिठाई का भोग लगाएं और पीले रंग के फल चढ़ाएं।

अपने बच्चों के साथ बसंत पंचमी का त्योहार मनाएं

ज्योतिषियों के मुताबिक, अगर किसी बच्चे का पढ़ाई में मन नहीं लगता और आप चाहते हैं कि आपका बच्चा खूब मन लगाकर पढ़ाई करे और उसे परीक्षा-प्रतियोगिता में सफलता मिले तो आप उसके स्टडी रूम में विद्या की देवी मां सरस्वती का चित्र या मूर्ति अवश्य रखें , इस तस्वीर या प्रतिमा को बच्चों के ठीक सामने रखें और उसे अपनी पढ़ाई शुरु करने से पहले माँ सरस्वती का ध्यान करने को कहें।

पढ़ाई करते वक्त बच्चों का मुख पूर्व या उत्तर दिशा की तरफ होना चाहिए। मान्यता है कि इस उपाय को करने पर देवी सरस्वती की कृपा हमेशा बनी रहती है और परीक्षा-प्रतियोगिता में मनचाही सफलता का आशीर्वाद प्राप्त होता है।

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यह है मां सरस्वती का मंत्र:  Mantra of Maa Saraswati:

प्रथम भारती नाम द्वितीयं सरस्वती। तृतीयं शारदा देवी चतुर्थं हंसवाहिनी।।

पंचमं जगती ख्याता षष्ठं वागीश्वरी तथा। सप्तमं कुमुदी प्रोक्ता अष्टमं ब्रह्मचारिणी।

नवमं बुद्धिदात्री च दशमं वरदायिनी। एकादशं चंद्रकान्तिद्र्वादशं भुवनेश्वरी।

द्वादशैतानि नामानि त्रिसन्ध्यं च: पठेन्नर:। जिह्वाग्रे वसते नित्यं ब्रह्मरूपा सरस्वती।

(यहां दी गई जानकारियां धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं, इसका कोई भी वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है. इसे सामान्य जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है.)

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