रिलायंस कैपिटल के अधिग्रहण के लिए अडाणी, टाटा एआईजी सहित 54 कंपनियों की बोली

रिलायंस कैपिटल के अधिग्रहण के लिए अडाणी, टाटा एआईजी सहित 54 कंपनियों की बोली

रिलायंस कैपिटल के अधिग्रहण के लिए अडाणी, टाटा एआईजी सहित 54 कंपनियों की बोली
Modified Date: November 29, 2022 / 08:36 pm IST
Published Date: March 27, 2022 3:53 pm IST

नयी दिल्ली, 27 मार्च (भाषा) कर्ज के बोझ से दबी अनिल अंबानी समूह की कंपनी रिलायंस कैपिटल के अधिग्रहण के लिए 54 कंपनियों ने बोली लगाई है। इन कंपनियों में अडाणी फिनसर्व, आईसीआईसीआई लोम्बार्ड, टाटा एआईजी, एचडीएफसी एर्गो और निप्पन लाइफ इंश्योरेंस शामिल हैं। सूत्रों ने यह जानकारी दी है।

भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा नियुक्त प्रशासक ने बोलियां जमा करने की अंतिम तारीख को 11 मार्च से बढ़ाकर 25 मार्च कर दिया था।

बोली लगाने वाली अन्य कंपनियों में यस बैंक, बंधन फाइनेंशियल होल्डिंग्स, चोलामंडलम इन्वेस्टमेंट, ओक ट्री कैपिटल, ब्लैकस्टोन, ब्रुकफील्ड, टीपीजी, केकेआर, पीरामल फाइनेंस और पूनावाला फाइनेंस शामिल हैं।

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सूत्रों ने बताया कि बोली लगाने की समयसीमा को कुछ संभावित बोलीदाताओं के आग्रह के बाद बढ़ाया गया था। इन कंपनियों ने रुचि पत्र (ईओआई) देने के लिए और समय मांगा था।

रिजर्व बैंक ने पिछले साल 29 नवंबर को भुगतान में चूक और कामकाज के संचालन के मुद्दों पर रिलायंस कैपिटल के निदेशक मंडल को भंग कर दिया था।

यह तीसरी बड़ी गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनी (एनबीएफसी) है जिसके खिलाफ केंद्रीय बैंक ने दिवाला एवं ऋणशोधन अक्षमता संहिता के तहत कार्रवाई शुरू की है। अन्य दो कंपनियां श्रेई समूह की एनबीएफसी और दीवान हाउसिंग फाइनेंस कॉरपोरेशन (डीएचएफएल) हैं।

सूत्रों ने बताया बोली लगाने वाली ज्यादातर कंपनियों ने पूरी कंपनी के अधिग्रहण के लिए ईओआई दिया है। वहीं कुछ कंपनियों ने रिलायंस कैपिटल की एक या दो अनुषंगियों के लिए बोली लगाई है। बोली लगाने वाली कंपनियों के पास दो विकल्प थे या तो वे पूरी कंपनी रिलायंस कैपिटल के लिए बोली लगाएं या फिर उसकी एक या दो अनुषंगियों के लिए।

रिलायंस कैपिटल की अनुषंगियों में रिलायंस जनरल इंश्योरेंस, रिलायंस निप्पन लाइफ इंश्योरेंस, रिलायंस सिक्योरिटीज, रिलायंस एसेट रिकंस्ट्रक्शन कंपनी, रिलायंस होम फाइनेंस और रिलायंस कमर्शियल फाइनेंस शामिल हैं।

रिलायंस कैपिटल के बोर्ड को भंग करने के बाद रिजर्व बैंक ने कंपनी की कॉरपोरेट दिवाला समाधान प्रक्रिया (सीआईआरपी) के लिए नागेश्वर राव वाई को प्रशासक नियुक्त किया था। रिजर्व बैंक ने इसके बाद कंपनी के खिलाफ सीआईआरपी शुरू करने को राष्ट्रीय कंपनी विधि न्यायाधिकरण (एनसीएलटी) की मुंबई पीठ के समक्ष आवेदन किया था।

इससे पहले इसी साल फरवरी में रिजर्व बैंक ने कंपनी के लिए प्रशासक नियुक्त किया और रिलायंस कैपिटल की बिक्री के लिए बोलियां मांगीं।

भाषा अजय अजय मानसी

मानसी


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