नयी दिल्ली, 18 फरवरी (भाषा) एईपीसी ने मंगलवार को कहा कि परिधान उद्योग घरेलू विनिर्माण को बढ़ावा देने के उद्देश्य से पुनर्चक्रीकरण (रीसाइक्लिंग) के माध्यम से टिाकऊ प्रथाओं और अपशिष्ट प्रबंधन को सक्रिय रूप से अपना रहा है।
परिधान निर्यात संवर्धन परिषद (एईपीसी) के अध्यक्ष सुधीर सेखरी ने यह भी कहा कि दो साल की छोटी अवधि में भारत टेक्स वस्त्रों की संपूर्ण मूल्य श्रृंखला के अंशधारकों की सक्रिय भागीदारी के लिए एक प्रमुख मंच बन गया है, जो अपस्ट्रीम और डाउनस्ट्रीम उद्योगों के बीच नए सहयोग और साझेदारी बना रहा है।
समावेशन को बढ़ावा देने के लिए उन्होंने कहा कि लगभग 80 प्रतिशत परिधान निर्माता निर्यातक एमएसएमई हैं और इसके 80 प्रतिशत कार्यबल में महिलाएं शामिल हैं।
सेखरी ने कहा, ‘‘परिधान उद्योग सक्रिय रूप से और बड़े पैमाने पर रीसाइक्लिंग के माध्यम से टिकाऊ प्रथाओं और अपशिष्ट प्रबंधन को अपना रहा है। हम इस संबंध में कई विकसित देशों से बहुत आगे हैं।’’
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