पर्यावरणीय, सामाजिक, प्रशासनिक मुद्दे टालने वाली चीजें नहीं: महिंद्रा

पर्यावरणीय, सामाजिक, प्रशासनिक मुद्दे टालने वाली चीजें नहीं: महिंद्रा

पर्यावरणीय, सामाजिक, प्रशासनिक मुद्दे टालने वाली चीजें नहीं: महिंद्रा
Modified Date: November 29, 2022 / 08:03 pm IST
Published Date: January 26, 2021 3:48 pm IST

नयी दिल्ली / दावोस, 26 जनवरी (भाषा) उद्योगपति आनंद महिंद्रा ने मंगलवार को कहा कि कंपनियों के लिये वृद्धि का सबसे बढ़िया अवसर व्यवस्था के निचले पायदान पर स्थित वर्ग की सेवा करने से आता है। उन्होंने कहा कि पर्यावरणीय, सामाजिक व प्रशासनिक (ईएसजी) के पैमानों का अनुकरण टालमटोल करने वाली चीज नहीं होनी चाहिये।

महिंद्रा ने विश्व आर्थिक मंच (डब्ल्यूईएफ) के ऑनलाइन दावोस एजेंडा शिखर सम्मेलन के ‘हिस्सेदारिता वाले पूंजीवाद का क्रियान्वयन’ चर्चा सत्र में कहा कि टिकाऊ तरीके से व्यवसाय को आगे बढ़ाना सबके हित में है।

महिंद्रा समूह के चेयरमैन ने कहा, ‘‘एक कारोबारी के तौर पर एक ऐसे व्यवसाय का प्रवर्तन करना, जो यथासंभव अधिक से अधिक लोगों की सेवा करता हो, फायदा पहुंचाता है। व्यवसायों को एक ऐसा उद्देश्य खोजने की जरूरत होती है, जो कि आने वाले समय की ओर उन्मुख हो।’’

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इस मौके पर महिंद्रा समूह और रिलायंस इंडस्ट्रीज समेत 50 अग्रणी वैश्विक कंपनियों ने डब्ल्यूईएफ द्वारा तैयार ईसीजी मानकों का पालन करने की प्रतिबद्धता जाहिर की।

यह प्रतिबद्धता जाहिर करने वाली बड़ी कंपनियों में कुछ प्रमुख नाम एसेंचर, बैंक ऑफ अमेरिका, क्रेडिट सुइस, डेल टेक्नोलॉजीज, डेलॉयट, ईवाई, हैनेकैन, एचपी, एचएसबीसी होल्डिंग्स, आईबीएम, जेएलएल, केपीएमजी, मास्टरकार्ड, मैकिंसे, नेस्ले, पेपाल, पीडब्ल्यूसी, रॉयल डच शेल, रॉयल फिलिप्स, सेल्सफोर्स, श्नाइडर इलेक्ट्रिक, सीमेंस, सोनी, टोटल, यूबीएस, यूनिलीवर, यारा इंटरनेशनल और ज्यूरिख इंश्योरेंस ग्रुप हैं।

भाषा सुमन रमण

रमण


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