आईसीआईसीआई बैंक का पहली तिमाही का शुद्ध लाभ 52 प्रतिशत बढ़कर 4,747.42 करोड़ रुपये पर

आईसीआईसीआई बैंक का पहली तिमाही का शुद्ध लाभ 52 प्रतिशत बढ़कर 4,747.42 करोड़ रुपये पर

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  • Publish Date - July 24, 2021 / 09:04 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:44 PM IST

मुंबई, 24 जुलाई (भाषा) निजी क्षेत्र के आईसीआईसीआई बैंक का चालू वित्त वर्ष की जून में समाप्त पहली तिमाही का एकीकृत शुद्ध लाभ 52 प्रतिशत बढ़कर 4,747.42 करोड़ रुपये पर पहुंच गया। प्रावधान में कमी की वजह से बैंक का शुद्ध लाभ बढ़ा है। हालांकि, बैंक के खुदरा ऋण खंड पर दबाव भी बढ़ा है।

संपत्ति के लिहाज से निजी क्षेत्र के इस दूसरे सबसे बड़े बैंक ने एकल आधार पर पहली तिमाही में 4,616.02 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ कमाया है जो इससे पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही से 77 अधिक है। पिछले वित्त वर्ष की अप्रैल-जून तिमाही में महामारी की वजह से राष्ट्रव्यापी स्तर पर लॉकडाउन से बैंक का मुनाफा प्रभावित हुआ था।

बैंक ने कहा कि तिमाही के दौरान उसकी कुल आय घटकर 24,379 करोड़ रुपये रह गई, जो इससे पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में 26,067 करोड़ रुपये रही थी।

तिमाही के दौरान बैंक का कुल प्रावधान 2,852 करोड़ रुपये रहा, जो एक साल पहले समान अवधि में 7,594 करोड़ रुपये रहा था।

बैंक के कार्यकारी निदेशक संदीप बत्रा ने कहा कि महामारी की दूसरी लहर की वजह से अप्रैल और मई के दौरान बैंक की ऋण वसूली बुरी तरह प्रभावित हुई। इससे बैंक की गैर-निष्पादित आस्तियां (एनपीए) बढ़ गईं।’’

तिमाही के दौरान बैंक का सकल एनपीए 5.15 प्रतिशत रहा, जो इससे पिछली तिमाही में 4.96 प्रतिशत तथा एक साल पहले 5.46 प्रतिशत था।

बैंक का नया एनपीए 7,231 करोड़ रुपये रहा। इसमें खुदरा और बिजनेस बैंकिंग कारोबार का हिस्सा 6,773 करोड़ रुपये तथा एसएमई और कॉरपोरेट खंड का 458 करोड़ रुपये रहा।

खुदरा और बिजनेस बैंकिंग खंड में कुल ऋण पर एनपीए बढ़कर 3.75 प्रतिशत हो गया, जो मार्च तिमाही के दौरान 3.04 प्रतिशत तथा एक साल पहले 2.04 प्रतिशत था।

बत्रा ने कहा कि बैंक खुदरा खाते की स्थिति को लेकर चिंतित नहीं है। उन्होंने इस बात को स्वीकार किया कि पूर्व में प्रणाली में कॉरपोरेट खंड का प्रदर्शन सबसे खराब रहता था, लेकिन आज यह अच्छी स्थिति में है।

भाषा अजय अजय प्रणव

अजय