पारादीप बंदरगाह चक्रवात ‘यास’ से उत्पन्न होने वाली स्थिति से निपटने को तैयार | Paradip port ready to deal with the situation arising out of Cyclone Yas

पारादीप बंदरगाह चक्रवात ‘यास’ से उत्पन्न होने वाली स्थिति से निपटने को तैयार

पारादीप बंदरगाह चक्रवात ‘यास’ से उत्पन्न होने वाली स्थिति से निपटने को तैयार

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:32 PM IST, Published Date : May 24, 2021/12:40 pm IST

नयी दिल्ली, 24 मई (भाषा) पारादीप पोर्ट ट्रस्ट (पीपीटी) प्रशासन आसन्न चक्रवात ‘यास’ के कारण उत्पन्न होने वाली किसी भी स्थिति से निपटने के लिए पूरी तरह से तैयार है। पीपीटी के चेयरमैन विनीत कुमार ने सोमवार को यह जानकारी दी।

भारत मौसम विज्ञान विभाग के अनुसार, बंगाल की खाड़ी के ऊपर बना ‘डीप डिप्रेशन’ सोमवार तड़के तेज होकर चक्रवात ‘यास’ में बदल गया और इसके अगले 24 घंटों में एक भीषण चक्रवाती तूफान में बदलने की संभावना है।

पीपीटी ने कुमार के हवाले से एक बयान में कहा, ‘‘चूंकि चक्रवाती तूफान ‘यास’ की वजह से वहां के इलाकों में तेज हवा के साथ भारी बारिश होने की आशंका है, इसके मद्देनजर पीपीटी प्रशासन किसी भी स्थिति से निपटने के लिए पूरी तरह से तैयार है।’’

बयान के अनुसार, किसी भी संभावित जल-जमाव से बचने के लिए इलाके में नालों को युद्ध स्तर पर साफ कर दिया गया है।

इसमें कहा गया है कि “संभावित रूप से पेड़ों के गिरने के कारण सड़कों को साफ करने के लिए चेन आरी और पे लोडर के साथ पीपीटी की चार टीमें चक्रवात के दौरान चौबीसों घंटे काम करने के लिए तैयार हैं।

“एहतियाती उपायों के रूप में, 23 मई, 2021 को रात 10 बजे से किसी भी जहाज को आने की अनुमति नहीं दी गई है।”

पारादीप लंगरगाह के सभी जहाजों को लंगर उठाकर समुद्र में जाने के लिए कहा गया है।

बयान में कहा गया है कि पांच चक्रवात आश्रयों को चालू कर दिया गया है, जहां स्थानीय मलिन बस्तियों और निचले भूभाग के लगभग 2,000 लोगों को उचित सामाजिक दूरी के मानदंडों के साथ रखा जाएगा। उन्होंने कहा, ‘‘उन्हें सूखा राशन, पका हुआ खाद्य पदार्थ, पीने का पानी, फेस मास्क और सैनिटाइज़र उपलब्ध कराया जाएगा। चक्रवात आश्रयों को निर्बाध बिजली आपूर्ति के लिए जेनसेट से भी लैस किया जाएगा।’’

चक्रवात के 26 मई की दोपहर के आसपास पारादीप और सागर द्वीप के बीच उत्तर ओडिशा-पश्चिम बंगाल के तटों को पार करने की बहुत संभावना है, जो ‘बहुत गंभीर चक्रवाती तूफान’ के रूप में है। रविवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्थिति से निपटने के लिए राज्य और केंद्रीय एजेंसियों की तैयारियों की समीक्षा के लिए एक उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता की, और अपतटीय इलाकों में काम करने वाले लोगों को समय पर वहां से निकालने का आह्वान किया।

सशस्त्र बल भी चौकस हैं, नौसेना ने चार युद्धपोतों और कई विमानों को इस काम के लिए तैयार रखा है।

अधिकारियों ने बताया कि वायुसेना ने मानवीय सहायता और आपदा राहत अभियान चलाने के लिए 11 परिवहन विमान और 25 हेलीकॉप्टर तैयार रखे हैं।

भाषा राजेश राजेश अजय

अजय

 

(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

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