एमईआईएस योजना के लाभों को अचानक सीमित करने से कारोबारियों पर गंभीर असर होगा: फियो

एमईआईएस योजना के लाभों को अचानक सीमित करने से कारोबारियों पर गंभीर असर होगा: फियो

एमईआईएस योजना के लाभों को अचानक सीमित करने से कारोबारियों पर गंभीर असर होगा: फियो
Modified Date: November 29, 2022 / 08:50 pm IST
Published Date: September 2, 2020 1:06 pm IST

नयी दिल्ली, दो सितंबर (भाषा) निर्यातकों के संगठन फियो ने बुधवार को कहा कि एमईआईएस योजना के तहत निर्यात प्रोत्साहनों को सीमित करने के सरकार के फैसले से कारोबारियों पर ‘‘गंभीर’’ असर होगा।

सरकार ने कहा है कि इस योजना के तहत सितंबर-दिसंबर के बीच किए गए निर्यात पर अधिकतम दो करोड़ रुपये के लाभ मिलेंगे।

फेडरेशन ऑफ इंडियन एक्सपोर्ट ऑर्गेनाइजेशन (फियो) के अध्यक्ष शरद कुमार सराफ ने कहा कि सितंबर-दिसंबर, 2020 के दौरान किए जाने वाले निर्यात पिछले आदेश पर आधारित हैं, और उन पर पहले ही मोलतोल किया जा चुका है, और उसमें मौजूदा ‘भारत वस्तु निर्यात योजना’ (एमईआईएस) के लाभ समाहित हैं।

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उन्होंने कहा कि ये लाभ निर्यात प्रतिस्पर्धात्मकता का हिस्सा हैं, और इसलिए इसमें अचानक किए गए बदलाव से निर्यातक को वित्तीय नुकसान उठाना पड़ेगा, क्योंकि खरीदार कीमतों को बढ़ाने के लिए तैयार नहीं होंगे।

उन्होंने कहा कि हो सकता है कि इस फैसले से प्रभावित होने वाले निर्यातकों की संख्या बहुत अधिक न हो, लेकिन निर्यात में उनका योगदान उल्लेखनीय है।

सरकार ने मंगलवार को एमईआईएस के तहत निर्यात प्रोत्साहन पर सीमा लगा दी। इसके तहत एक सितंबर से 31 दिसंबर, 2020 के बीच किये गये निर्यात को लेकर प्रति निर्यातक दो करोड़ रुपये का प्रोत्साहन मिलेगा।

राजस्व विभाग के वाणिज्य मंत्रालय से एमईआईएस योजना की समीक्षा के लिये कहे जाने के बाद यह कदम उठाया गया। इसका मकसद यह सुनिश्चित करना है कि कार्यक्रम के तहत राजकोषीय लाभ को कम कर 9,000 करोड़ रुपये के स्तर पर रखा जाए।

विदेश व्यापार महानिदेशालय (डीजीएफटी) ने एक अधिसूचना में कहा, ‘‘एमईआईएस के तहत प्रोत्साहन को लेकर सीमा तय की गयी है। ताकि एक सितंबर 2020 से 31 दिसंबर, 2020 के बीच निर्यात के लिये आईईसी (आयात निर्यात कोड) धारक के दावे के तहत कुल आबंटन 2 करोड़ रुपये से अधिक नहीं हो।’’

भाषा पाण्डेय मनोहर

मनोहर


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