असम के शिवसागर में ओएनजीसी के कुएं से गैस का अनियंत्रित रिसाव जारी

असम के शिवसागर में ओएनजीसी के कुएं से गैस का अनियंत्रित रिसाव जारी

असम के शिवसागर में ओएनजीसी के कुएं से गैस का अनियंत्रित रिसाव जारी
Modified Date: June 13, 2025 / 05:21 pm IST
Published Date: June 13, 2025 5:21 pm IST

शिवसागर (असम), 13 जून (भाषा) असम के शिवसागर जिले में ओएनजीसी के एक कच्चे तेल के कुएं में एक दिन पहले हुए विस्फोट के बाद इससे गैस का अनियंत्रित रिसाव लगातार दूसरे दिन शुक्रवार को भी जारी रहा।

ऑयल एंड नेचुरल गैस कॉरपोरेशन (ओएनजीसी) के एक अधिकारी ने कहा कि कंपनी ने इस घटना के कारणों की विस्तृत जांच शुरू कर दी है। इसके साथ ही कुएं को नियंत्रित करने की प्रक्रिया भी चल रही है।

उन्होंने आश्वस्त किया कि कुएं में आग नहीं लगी है और इस घटना में कोई भी घायल नहीं हुआ है। सभी आपातकालीन सेवाओं को मौके पर तैनात कर दिया गया है।

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यह घटना ओएनजीसी के रुद्रसागर तेल क्षेत्र में स्थित रिग नंबर एसकेपी 135 के कुएं आरडीएस 147 में हुई। इस कुएं का संचालन ओएनजीसी की तरफ से एक निजी कंपनी एसके पेट्रो सर्विसेज कर रही थी।

ओएनजीसी ने एक बयान में कहा कि बृहस्पतिवार को सर्विसिंग के दौरान कुएं से गैस रिसाव देखा गया। कंपनी ने तुरंत सुरक्षा प्रोटोकॉल सक्रिय कर दिए और आपातकालीन प्रतिक्रिया दल मौके पर पहुंच गया।

सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनी का दावा है कि स्थिति अब पूरी तरह से नियंत्रण में है और उन्हें उम्मीद है कि बहुत जल्द सब सामान्य हो जाएगा।

कंपनी ने कहा, ‘ओएनजीसी को भरोसा है कि स्थिति को बहुत जल्द सामान्य कर लिया जाएगा। इस घटना के मूल कारण की पहचान के लिए विस्तृत जांच शुरू कर दी गई है।’

एक अन्य अधिकारी ने बताया कि यह एक पुराना कच्चा कुआं है जहां फिलहाल उत्पादन नहीं हो रहा था। विस्फोट के समय कुएं में जोन स्थानांतरण के लिए छिद्र तैयार करने का कार्य चल रहा था, जिसके तुरंत बाद अचानक गैस का अनियंत्रित रिसाव शुरू हो गया और विस्फोट हो गया।

हालांकि कुछ स्थानीय लोगों ने विस्फोट के डर से अपने घरों को अस्थायी रूप से छोड़ दिया है।

इस घटना के बाद लोगों को 2020 में तिनसुकिया जिले के बागजान में हुई भीषण औद्योगिक आपदा की याद सता रही है। उस समय ओएनजीसी के एक तेल कुएं में 173 दिनों तक अनियंत्रित रूप से गैस रिसती रही और उसमें आग लगने से तीन कर्मचारियों की जान चली गई थी।

भाषा प्रेम प्रेम रमण

रमण


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