Bilaspur High Court: ‘बच्चों के साथ क्रूरता बर्दाश्त नहीं’, बच्चे को पेड़ से लटकाने के मामले में भड़का हाईकोर्ट, स्कूल शिक्षा विभाग से मांगा जवाब
Bilaspur High Court: 'बच्चों के साथ क्रूरता बर्दाश्त नहीं', बच्चे को पेड़ से लटकाने के मामले में भड़का हाईकोर्ट, स्कूल शिक्षा विभाग से मांगा जवाब
Bilaspur High Court News/Image Source: IBC24
- सूरजपुर जिले में टीचर ने बच्चे को पेड़ से लटकाकर दी अमानवीय सजा
- वीडियो वायरल होने पर अभिभावकों ने स्कूल के बाहर विरोध प्रदर्शन किया
- हाईकोर्ट ने संज्ञान लेकर शिक्षा विभाग से जवाब मांगा
बिलासपुर: Bilaspur High Court सूरजपुर जिले के रामानुजनगर में एक प्राइवेट स्कूल में केजी-टू के छात्र को होमवर्क नहीं करने पर टीचर ने घंटों पेड़ से लटकाए रखा। घटना का वीडियो सामने आने के बाद पेरेंट्स का गुस्सा फूट पड़ा। बड़ी संख्या में परिजनों ने स्कूल के बाहर हंगामा कर दिया। हाईकोर्ट ने भी मामले को काफी गंभीर माना है और संज्ञान लेते हुए सचिव स्कूल शिक्षा विभाग से शपथ पत्र में जवाब मांगा है। अगली सुनवाई 9 दिसंबर को तय की गई है।
Bilaspur High Court कोर्ट ने कहा है कि शिक्षा के नाम पर बच्चों के साथ क्रूरता और निजी स्कूलों में अव्यवस्था असहनीय है और इसे बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। शासन को इसे गंभीरता से लेना होगा। हालांकि शिक्षा विभाग की ओर से जानकारी दी गई है कि मामले में शिक्षिका को बर्खास्त कर दिया गया है और स्कूल की मान्यता समाप्त करने की नोटिस दी गई है।
दरअसल, यह मामला रामानुजनगर ब्लाक मुख्यालय क्षेत्र के नारायणपुर के हंसवानी विद्या मंदिर का है। इस स्कूल में नर्सरी से पाचवीं तक के छात्र पढ़ते हैं। जानकारी के अनुसार बीते सोमवार को जब स्कूल खुला तो बच्चे समय पर स्कूल पहुंचे। इसी बीच नर्सरी क्लास में जब पढ़ाई शुरू हुई तो टीचर काजल साहू ने होमवर्क चेक किया। इसी दौरान एक छात्र ने अपना होमवर्क पूरा नहीं किया था। इसपर टीचर काजल साहू बच्चे पर भड़क गई। टीचर ने बच्चे को सजा के तौर पर क्लास से बाहर निकाल दिया।
इसके बाद स्कूल परिसर में एक पेड़ से रस्सी के सहारे उसे को लटका दिया। बच्चा रस्सी के सहारे घंटों लटकता रहा। इस दौरान बच्चा रोता रहा, टीचर से उसे छोड़ने के लिए कहता रहा, लेकिन उन्होंने बच्चे की बिल्कुल भी नहीं सुनी। जिस समय बच्चे को पेड़ से लटकाया गया था, उसी दौरान किसी ग्रामीण ने घटना का वीडियो बना लिया। यह वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो गया, जिसके बाद अभिभावकों का गुस्सा फूट पड़ा। बड़ी संख्या में पेरेंट्स स्कूल के बाहर इकट्ठा हो गए और विरोध प्रदर्शन किया। हालांकि स्कूल प्रबंधन घटना को मामूली बताता रहा। मामले में विवाद बढ़ने पर शिक्षा विभाग भी हरकत में आ गया है। विकासखंड शिक्षा अधिकारी मौके पर पहुंचे और घटना की जांच की। उन्होंने मामले की रिपोर्ट उच्च अधिकारियों को भेजने की बात कही है।

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