Raipur Cyber Fraud Case: रायपुर में फिर 26 लाख से ज्यादा की साइबर ठगी.. प्रोफेसर को बनाया निशाना.. पैसे ऐंठकर ठगों ने व्हाट्सप्प ग्रुप से कर दिया बाहर
सभी मामलों में पुलिस ने तत्परता दिखाते हुए कार्रवाई शुरू कर दी है। इसके लिए पुलिस साइबर स्पेशलिस्ट की मदद ली जा रही है साथ ही यह भी पता लगाया जा रहा है कि, किन बैंक खातों में रकम ट्रांसफर किये गए है और इसके पीछे कौन-लोग शामिल है।
Raipur Cyber Fraud Case || Images- IBC24 News File
- व्हाट्सएप ग्रुप में जोड़कर मुनाफे का लालच
- प्रोफेसर से 26 लाख की ऑनलाइन ठगी
- रायपुर में एक ही दिन में तीन साइबर केस
Raipur Cyber Fraud Case: रायपुर: राजधानी में एक तरफ जहां आम अपराध अपनी जड़े जमा रहा है तो दूसरी तरफ ऑनलाइन ठगों का आतंक भी सिर चढ़कर बोल रहा है। साइबर क्राइम से जुड़ा एक नया मामला रायपुर पुलिस के सामने आया है, जिसमें सायबर अपराधियों ने एक डेंटल कॉलेज के एक प्रोफ़ेसर को अपना निशाना बनाया है। ठगों ने प्रोफसर के साथ करीब 26 लाख 68 हजार रुपये की ठगी की है।
मुनाफे का झांसा देकर बनाया निशाना
जानकारी के मुताबिक़ इसकी सूचना पीड़ित प्रोफेसर ने आमानाका पुलिस थाने में दर्ज कराई है। उन्होंने पुलिस को बताया कि, ठगों ने व्हाट्सएप ग्रुप में जोड़कर वीआईपी मेंबरशिप और मुनाफे का लालच दिया था। इसके बाद ठगों ने शातिराना तरीके से उनसे अलग-अलग बैंक खातों में रकम ट्रांसफर कराया। वही जब उन्हें इससे फायदा होता नहीं दिखा और रिटर्न हासिल नहीं हुआ तो उन्होंने व्हाट्सप्प ग्रुप में आपत्ति जताई लेकिन इसी बीच उन्हें उस व्हाट्सअप ग्रुप से रिमूव कर दिया गया। इसके बाद प्रोफेर्स को खुद के साथ ठगी होने का आभास हुआ। उन्होंने इसकी लिखित शिकायत आमानाका पुलिस से की है।
एक ही दिन में तीन मामले दर्ज
Raipur Cyber Fraud Case: गौरतलब है कि, एक ही दिन में रायपुर में डिजिटल ठगी के तीन अलग-अलग मामले सामने आए है। प्रोफेसर से जुड़े प्रकरण से अलग तेलीबांधा थाने में भी शेयर ट्रेडिंग में मुनाफे के नाम पर 13 लाख रुपए की ठगी की गई है जबकि सरस्वती नगर थाने में भी एक केस दर्ज किया गया है। इस मामले में बताया गया है कि, ठग ने इलेक्ट्रिक स्कूटर का कर्मचारी बनकर पीड़ित से 26 हजार रुपये की ऑनलाइन ठगी की है।
पुलिस की साइबर टीम एक्टिव
बहरहाल सभी मामलों में पुलिस ने तत्परता दिखाते हुए कार्रवाई शुरू कर दी है। इसके लिए पुलिस साइबर स्पेशलिस्ट की मदद ली जा रही है साथ ही यह भी पता लगाया जा रहा है कि, किन बैंक खातों में रकम ट्रांसफर किये गए है और इसके पीछे कौन-लोग शामिल है। पुलिस यह भी जानने के प्रयास में जुटी है कि देश के किस हिस्से से इस पूरे आपराधिक गतिविधियों का संचालन हो रहा है।

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