Coal Employees Latest News: इन कर्मचारियों के लिए दिवाली से पहले खुशखबरी, पेंशन को लेकर आएगा नया कानून, सैलरी में भी बढ़ोतरी की तैयारी में सरकार

Coal Employees Latest News: Preparation to bring new law on social security, pension of coal sector employees

Coal Employees Latest News: इन कर्मचारियों के लिए दिवाली से पहले खुशखबरी, पेंशन को लेकर आएगा नया कानून, सैलरी में भी बढ़ोतरी की तैयारी में सरकार

Coal Employees Latest News. Image Source- IBC24 File Photo

Modified Date: October 8, 2025 / 03:56 pm IST
Published Date: October 8, 2025 3:10 pm IST

नई दिल्ली: Coal Employees Latest News: कोयला क्षेत्र के कर्मचारियों के सामाजिक सुरक्षा और पेंशन संबंधी लाभ सुनिश्चित करने के लिए कोयला मंत्रालय एक नया कानून लाने की तैयारी कर रहा है। संसद से मंजूरी मिलने के बाद यह कानून 77 वर्ष पुराने ‘कोयला खदान भविष्य निधि एवं विविध प्रावधान अधिनियम, 1948’ की जगह लेगा। नए विधेयक में औद्योगिक विवादों के समाधान, कार्य स्थितियों, सामाजिक सुरक्षा, वेतन नियमन और डिजिटलीकरण जैसे क्षेत्रों में हुए हालिया सुधारों को ध्यान में रखा गया है।

Coal Employees Latest News: कोयला मंत्रालय ने इस संबंध में ‘कोयला खदान कर्मचारी भविष्य निधि एवं विविध प्रावधान विधेयक, 2025’ के प्रारूप पर हितधारकों से टिप्पणियां आमंत्रित की हैं। प्रस्तावित कानून में मौजूदा न्यासी मंडल के स्थान पर कोयला खदान कर्मचारी भविष्य निधि बोर्ड के गठन का प्रावधान किया गया है, जिससे एक अधिक जवाबदेह और सुदृढ़ नियामकीय ढांचा तैयार किया जा सकेगा। ‘कोयला खदान भविष्य निधि एवं विविध प्रावधान अधिनियम, 1948’ को कोयला खदानों में कार्यरत श्रमिकों के लिए भविष्य निधि योजना, पारिवारिक पेंशन योजना और जमा से जुड़ी बीमा योजना के प्रावधान को लागू किया गया था। यह अधिनियम संविधान लागू होने से पहले बना हुआ कानून है और इसे समय-समय पर संशोधित किया जाता रहा है।

मंत्रालय ने कहा कि अधिनियम की व्यापक समीक्षा और उसके प्रावधानों को मजबूत करने की आवश्यकता है ताकि यह वर्तमान और भविष्य की आवश्यकताओं के अनुरूप प्रभावी रूप से काम कर सके। यह अधिनियम कोयला मंत्रालय के अधीन कोयला खदान भविष्य निधि संगठन द्वारा प्रशासित किया जाता है। मंत्रालय ने कहा कि केंद्र सरकार संविधान लागू होने से पहले बने कानूनों की प्रासंगिकता की समीक्षा कर रही है। समान विषय-वस्तु वाले कई केंद्रीय कानूनों को मिलाकर नए सिरे से अधिनियमित या निरस्त करने पर विचार किया जा रहा है।

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