केंद्र के अध्यादेश मुद्दे पर आप का समर्थन नहीं करेगी कांग्रेस: बाजवा
केंद्र के अध्यादेश मुद्दे पर आप का समर्थन नहीं करेगी कांग्रेस: बाजवा
चंडीगढ़, 31 मई (भाषा) कांग्रेस के वरिष्ठ नेता प्रताप सिंह बाजवा ने बुधवार को कहा कि दिल्ली में सेवाओं के नियंत्रण पर केंद्र के अध्यादेश पर पार्टी आम आदमी पार्टी (आप) का समर्थन नहीं करेगी।
बाजवा की टिप्पणी ऐसे समय आयी है जब पंजाब के कांग्रेस नेताओं ने कुछ दिन पहले राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में पार्टी नेतृत्व से मुलाकात की थी और दिल्ली सेवा अध्यादेश मुद्दे पर आप का समर्थन नहीं करने का सुझाव दिया था।
यह पूछे जाने पर कि क्या कांग्रेस आप का समर्थन करेगी, पंजाब विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष बाजवा ने कहा, ‘‘हम उनका समर्थन बिल्कुल नहीं करने जा रहे। हमने स्पष्ट कर दिया है कि हमारा आप के साथ कोई संबंध नहीं है।’’
यहां आयोजित संवाददाता सम्मेलन में पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी भी बाजवा के साथ थे। चन्नी ने मुख्यमंत्री भगवंत मान के इस आरोप को खारिज कर दिया कि उनके रिश्तेदार ने एक क्रिकेटर से सरकारी नौकरी के लिए पैसे मांगे थे।
गत 29 मई को कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने अध्यादेश के मुद्दे पर राय जानने के लिए पंजाब और दिल्ली के नेताओं की अलग-अलग बैठकें बुलाई थीं।
अधिकांश नेताओं ने नेतृत्व से दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के साथ खड़े नहीं रहने की पैरवी की थी और उन्हें भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की ‘बी-टीम’ कहा था।
इन नेताओं ने साथ ही यह दावा भी किया था कि केजरीवाल ने ना केवल दिल्ली और पंजाब बल्कि अन्य राज्यों में भी कांग्रेस के हितों को नुकसान पहुंचाया है।
केजरीवाल और आम आदमी पार्टी ने कांग्रेस समेत सभी विपक्षी दलों से आग्रह किया था कि वे केंद्र के अध्यादेश से संबंधित विधेयक का संसद में विरोध करें।
इसके बाद पूर्व केंद्रीय मंत्री अजय माकन और कांग्रेस के कुछ अन्य नेताओं ने केंद्र सरकार के इस अध्यादेश के विषय पर मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए अपने आलाकमान से आग्रह किया था कि वह इस मामले में आम आदमी पार्टी एवं केजरीवाल का समर्थन ना करें।
केंद्र ने आईएएस और दानिक्स कैडर के अधिकारियों के तबादले और उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई के लिए राष्ट्रीय राजधानी सिविल सेवा प्राधिकरण बनाने के लिए हाल ही में अध्यादेश जारी किया था।
यह अध्यादेश उच्चतम न्यायालय द्वारा दिल्ली में निर्वाचित सरकार को पुलिस, सार्वजनिक व्यवस्था और भूमि से संबंधित सेवाओं को छोड़कर अन्य सेवाओं का नियंत्रण सौंपने के बाद आया।
भाषा अमित संतोष
संतोष

Facebook



