कोलकाता हवाई अड्डे पर घने कोहरे के कारण 22 उड़ानों की आवाजाही प्रभावित
कोलकाता हवाई अड्डे पर घने कोहरे के कारण 22 उड़ानों की आवाजाही प्रभावित
कोलकाता, तीन फरवरी (भाषा) कोलकाता हवाई अड्डे पर घने कोहरे के बीच दृश्यता कम हो जाने के कारण सोमवार को कम से कम 22 उड़ानों की आवाजाही प्रभावित हुई। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।
अधिकारियों ने बताया कि नेताजी सुभाष चंद्र बोस अंतरराष्ट्रीय (एनएससीबीआई) हवाई अड्डे पर आने वाली कम से कम छह उड़ानों और अन्य स्थानों के लिए रवाना होने वाली 16 उड़ानों के परिचालन में देरी हुई।
भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण (एएआई) के प्रवक्ता के अनुसार, रात एक बजकर 21 मिनट से सुबह आठ बजकर 45 मिनट तक कोहरे के कारण कम दृश्यता प्रक्रिया (एलवीपी) लागू की गई।
प्रवक्ता ने बताया कि जब दृश्यता 800 मीटर से कम हो जाती है तो विमान यातायात नियंत्रण (एटीसी) एलवीपी की घोषणा करता है, जिसके बाद ‘फॉलो-मी वाहन’ विमानों को उनके ‘स्टैंड’ तक ले जाते हैं।
एएआई अधिकारी ने बताया कि उड़ानों का सुरक्षित प्रबंधन किए जाने और व्यवधान को कम किए जा सकने के मकसद से इन प्रक्रियाओं में हवाई अड्डा संचालक, एटीसी और पायलट के बीच समन्वय होता है।
उन्होंने कहा कि इससे यह सुनिश्चित होता है कि उन्नत नेविगेशन प्रणाली और ग्राउंड लाइटिंग का उपयोग करके विमान सुरक्षित रूप से उतर सकें और उड़ान भर सकें।
अधिकारी ने बताया कि सोमवार को उड़ान परिचालन में और अधिक देरी टल गई, क्योंकि दृश्यता की स्थिति में परिवर्तन आने पर एलवीपी के दौरान इंस्ट्रूमेंट लैंडिंग सिस्टम (आईएलएस) की मदद से 33 आगमन वाली उड़ाने और 44 प्रस्तान करने वाले विमानों का परिचालन किया गया।
इसके अलावा, कुल 33 उड़ानों ने लैंडिंग के लिए या तो श्रेणी-द्वितीय (कैट-द्वितीय) आईएलएस या कैट-तृतीय आईएलएस का इस्तेमाल किया जबकि 44 विमानों ने एलवीपी के दौरान कम दृश्यता टेक-ऑफ (एलवीटीओ) का विकल्प चुना।
कैट-द्वितीय आईएलएस का प्रयोग तब किया जाता है जब रनवे दृश्यता सीमा कम से कम 300 मीटर या उससे अधिक होती है, जबकि कैट-तृतीय आईएलएस का प्रयोग तब किया जाता है जब यह 300 मीटर से कम हो जाती है।
अधिकारी ने बताया कि रविवार को कोहरे के बीच खराब दृश्यता के कारण कोलकाता हवाई अड्डे पर कुल 13 उड़ानों के आगमन तथा प्रस्थान में देरी हुई।
घने कोहरे के कारण 23 जनवरी से 25 जनवरी तक लगातार तीन दिनों तक एनएससीबीआई हवाई अड्डे पर उड़ान परिचालन भी बाधित रहा।
उन्होंने बताया कि 23 जनवरी को कुल 72 उड़ानें, 24 जनवरी को 34 उड़ानें और 25 जनवरी को 53 उड़ानें प्रभावित हुईं।
भाषा यासिर नरेश
नरेश

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