822 farmers have committed suicide: मराठवाड़ा में इस साल अब तक 822 किसानों ने की आत्महत्या, 314 मामलों की जांच भी लंबित

822 farmers have committed suicide: रिपोर्ट में कहा गया, '822 मामलों में से 303 मामलों में 30 नवंबर तक कुल 3.03 करोड़ रुपये की सहायता दी गई है। 314 मामलों में जांच लंबित है।'

822 farmers have committed suicide: मराठवाड़ा में इस साल अब तक 822 किसानों ने की आत्महत्या, 314 मामलों की जांच भी लंबित

CG Raipur News | Image Credit : IBC24 File Photo

Modified Date: December 6, 2024 / 08:06 pm IST
Published Date: December 6, 2024 7:32 pm IST

छत्रपति संभाजीनगर: 822 farmers have committed suicide,  महाराष्ट्र के मराठवाड़ा क्षेत्र के आठ जिलों में 2024 में अबतक 800 से अधिक किसानों के आत्महत्या किए जाने की खबरें हैं, जिनमें से 303 मामलों में मुआवजा दिया जा चुका है, जबकि 314 मामलों में जांच लंबित है। एक अधिकारी ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।

संभागीय आयुक्त कार्यालय द्वारा उपलब्ध कराई गई रिपोर्ट के अनुसार इस वर्ष जनवरी से अब तक मराठवाड़ा में 822 किसानों ने आत्महत्या की है, जिसमें बीड में सबसे अधिक 160 किसानों ने आत्महत्या की।

रिपोर्ट में कहा गया, ‘822 मामलों में से 303 मामलों में 30 नवंबर तक कुल 3.03 करोड़ रुपये की सहायता दी गई है। 314 मामलों में जांच लंबित है।’

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रिपोर्ट के अनुसार, बीड के बाद मराठवाड़ा के नांदेड़ (146) में सबसे अधिक किसानों ने आत्महत्या की। उसके बाद धाराशिव (143), छत्रपति संभाजीनगर (132), जालना (76), लातूर (72), परभणी (64) और हिंगोली (29) किसानों ने आत्महत्या की।

संभागीय आयुक्त दिलीप गावड़े ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि इन मामलों की जांच जिला स्तरीय समितियों द्वारा की जाती है और विधानसभा चुनावों के लिए 15 अक्टूबर से लागू आदर्श आचार संहिता के कारण इसमें कुछ देरी हुई।

गावडे ने बताया, ‘हमने अधिकारियों को मामले की शीघ्र जांच करने का निर्देश दिया है।’

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लेखक के बारे में

डॉ.अनिल शुक्ला, 2019 से CG-MP के प्रतिष्ठित न्यूज चैनल IBC24 के डिजिटल ​डिपार्टमेंट में Senior Associate Producer हैं। 2024 में महात्मा गांधी ग्रामोदय विश्वविद्यालय से Journalism and Mass Communication विषय में Ph.D अवॉर्ड हो चुके हैं। महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय वर्धा से M.Phil और कुशाभाऊ ठाकरे पत्रकारिता एवं जनसंचार विश्वविद्यालय, रायपुर से M.sc (EM) में पोस्ट ग्रेजुएशन किया। जहां प्रावीण्य सूची में प्रथम आने के लिए तिब्बती धर्मगुरू दलाई लामा के हाथों गोल्ड मेडल प्राप्त किया। इन्होंने गुरूघासीदास विश्वविद्यालय बिलासपुर से हिंदी साहित्य में एम.ए किया। इनके अलावा PGDJMC और PGDRD एक वर्षीय डिप्लोमा कोर्स भी किया। डॉ.अनिल शुक्ला ने मीडिया एवं जनसंचार से संबंधित दर्जन भर से अधिक कार्यशाला, सेमीनार, मीडिया संगो​ष्ठी में सहभागिता की। इनके तमाम प्रतिष्ठित पत्र पत्रिकाओं में लेख और शोध पत्र प्रकाशित हैं। डॉ.अनिल शुक्ला को रिपोर्टर, एंकर और कंटेट राइटर के बतौर मीडिया के क्षेत्र में काम करने का 15 वर्ष से अधिक का अनुभव है। इस पर मेल आईडी पर संपर्क करें anilshuklamedia@gmail.com