जमानत याचिका में श्रम अधिकार कार्यकर्ता ने पुलिस के हाथों पीटे जाने का दावा किया

जमानत याचिका में श्रम अधिकार कार्यकर्ता ने पुलिस के हाथों पीटे जाने का दावा किया

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  • Publish Date - February 23, 2021 / 11:03 AM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:05 PM IST

चंडीगढ़, 23 फरवरी (भाषा) श्रम अधिकार कार्यकर्ता नौदीप कौर ने पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय में दायर अपनी याचिका में दावा किया है कि पिछले महीने सोनीपत पुलिस द्वारा गिरफ्तार किये जाने के बाद पुलिस थाने में कई बार उन्हें बेरहमी से पीटा गया।

पंजाब के मुक्तसर जिले की रहने वाली 23 वर्षीय कार्यकर्ता ने यह भी दावा किया है कि उनकी चिकित्सकीय जांच भी नहीं करायी गयी जो आपराधिक दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 54 का उल्लंघन है।

कौर वर्तमान में हरियाणा के करनाल जेल में बंद हैं।

पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय ने सोमवार को उनकी जमानत याचिका पर सुनवाई स्थगित कर दी। अदालत मामले में अब 24 फरवरी को सुनवाई करेगी।

अपने वकील अर्शदीप सिंह चीमा और हरिंदर दीप सिंह बैंस के माध्यम से दायर जमानत याचिका में कौर ने कहा कि उन्हें गलत तरीके से फंसाया गया और भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 307 (हत्या के प्रयास) समेत विभिन्न धाराओं के तहत प्राथमिकी में आरोपी बनाया गया।

अपनी याचिका में श्रम अधिकार कार्यकर्ता ने दावा किया कि मामले में उन्हें ‘‘निशाना बनाया गया और गलत तरीके से फंसाया गया’’ क्योंकि वह केंद्र के तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे किसानों के लिए भारी समर्थन जुटाने में कामयाब रही थीं।

कौर मजदूर अधिकार संगठन (एमएएस) की सदस्य हैं। कौर ने बताया कि उन्होंने केंद्र के नए कृषि कानूनों के विरोध में सोनीपत जिले के कुंडली में प्रदर्शन के लिए लोगों को एकत्रित किया।

याचिका में आरोप लगाया गया कि किसानों के समर्थन में स्थानीय मजदूरों के जुटने से प्रशासन खफा था और प्रदर्शन को दबाने के लिए योजना बनायी गयी।

जमानत याचिका में कहा गया कि 12 जनवरी को याचिकाकर्ता और एमएएस के सदस्यों ने कुछ मजदूरों के बकाया वेतन के भुगतान की मांग को लेकर एक फैक्टरी की ओर कूच किया।

याचिका में उच्च न्यायालय को बताया गया कि उद्योगपतियों के संघ कुंडली औद्योगिक क्षेत्र द्वारा गठित एक समूह ने उनसे दुर्व्यवहार किया।

याचिका में दावा किया गया इसी बीच कुंडली पुलिस थाना के प्रभारी के नेतृत्व में पुलिस की एक टीम वहां पहुंची और याचिकाकर्ता के बाल खींचकर घसीटते हुए उन्हें अपने साथ ले गयी।

याचिका में कहा गया कि इससे प्रदर्शनकारी भड़क गये और जब पुलिस ने शांतिपूर्ण तरीके से प्रदर्शन कर रहे प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज किया तो स्थिति और खराब हो गयी। दोनों पक्षों के बीच संघर्ष हुआ, याचिकाकर्ता ने स्थिति को शांत कराने की कोशिश की लेकिन ऐसा नहीं हो पाया।

इसमें दावा किया गया कि पुलिस अधिकारियों ने सिर्फ याचिकाकर्ता को गिरफ्तार किया। उन्हें पीटा गया, प्रताड़ित किया गया और उन्हें कई चोटें आयीं।

याचिका में आरोप है कि किसी महिला पुलिसकर्मी की उपस्थिति के बिना ही उन्हें थाने में रखा गया और पुलिस अधिकारियों ने उनकी पिटाई की।

हरियाणा पुलिस ने इससे पहले बताया था कि कौर को 12 जनवरी को सोनीपत में गिरफ्तार किया गया था।

सोनीपत पुलिस के अधिकारियों ने यह भी कहा कि घटनास्थल पहुंचने पर पुलिस की टीम पर लाठी-डंडों से हमला किया गया और इस घटना में कुछ पुलिसकर्मी घायल भी हुए।

भाषा सुरभि माधव

माधव