कोच्चि, 25 अप्रैल (भाषा) केरल के राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर ने शुक्रवार को कहा कि कश्मीर के पहलगाम में हुआ आतंकवादी हमला ‘मानवता की हत्या’ थी और आतंकवादी केंद्र सरकार द्वारा पिछले कुछ वर्षों में वहां किए गए सारे कार्यों को ‘मिटाने’ की कोशिश कर रहे हैं।
आर्लेकर ने कहा कि वर्तमान परिस्थितियों में भारत के नागरिकों को एकजुट होने की आवश्यकता है। यह टिप्पणी उन्होंने कांग्रेस और मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) जैसे कुछ राजनीतिक दलों की ओर से सुरक्षा चूक को लेकर की गई आलोचनाओं के संदर्भ में की।
गोवा के राज्यपाल पी. एस. श्रीधरन पिल्लै ने भी कहा कि पूरे देश को मिलकर ऐसे खतरों का सामना करना होगा।
उन्होंने कहा कि ऐसी आतंकी गतिविधियों को राष्ट्र के खिलाफ युद्ध के रूप में देखा जाएगा और उनका उसी तरह से जवाब दिया जाएगा।
दोनों राज्यपालों ने पहलगाम हमले में मारे गए एडापल्ली के मूल निवासी एन रामचंद्रन को श्रद्धांजलि देने के बाद पत्रकारों से बातचीत में यह बात कही।
राज्यपाल आर्लेकर ने कहा, ‘यह केवल केरल ही नहीं, बल्कि पूरे देश के लिए अत्यंत दुखद क्षण है। दरअसल, जो कुछ पहलगाम में हुआ, वह मानवता के खिलाफ था। यह मानवता की हत्या थी और हम सभी इतने दुखी हैं कि उसे शब्दों में व्यक्त नहीं कर सकते।’
उन्होंने कहा, ‘पिछले कुछ महीनों और वर्षों में जो भी कार्य हुए थे, उन्हें कुछ आतंकवादी मिटाने की कोशिश कर रहे हैं, जो यह दिखाना चाहते हैं कि वे भारत के खिलाफ हैं।’
आर्लेकर ने कहा कि सुरक्षा बलों और केंद्र सरकार की प्रतिबद्धता से ऐसे प्रयास सफल नहीं होंगे। उन्होंने साथ ही देशवासियों से अपील की कि वे एकजुट होकर यह दिखाएं कि ‘भारत कभी आतंक के सामने झुकेगा नहीं’।
उन्होंने कहा, ‘यह राष्ट्र के प्रति हमारी भावना को प्रकट करने का समय है।’
गोवा के राज्यपाल पिल्लै ने रामचंद्रन को याद करते हुए बताया कि वह उनके पार्टी सहयोगी भी रहे हैं और हमेशा अपने क्षेत्र के लिए एक आदर्श प्रतिनिधि रहे।
मंगलवार को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में यह आतंकवादी हमला हुआ जिसमें 26 लोगों की जान चली गई। यह घाटी में वर्ष 2019 के पुलवामा हमले के बाद सबसे बड़ा आतंकी हमला माना जा रहा है।
भाषा
राखी नरेश
नरेश
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