उच्चतम न्यायालय ने हत्या के मामले में मौत की सजा पाए व्यक्ति को बरी किया

उच्चतम न्यायालय ने हत्या के मामले में मौत की सजा पाए व्यक्ति को बरी किया

उच्चतम न्यायालय ने हत्या के मामले में मौत की सजा पाए व्यक्ति को बरी किया
Modified Date: October 17, 2024 / 07:38 pm IST
Published Date: October 17, 2024 7:38 pm IST

नयी दिल्ली, 17 अक्टूबर (भाषा) उच्चतम न्यायालय ने मौत की सजा पाए एक कैदी को बृहस्पतिवार को बरी कर दिया। इस व्यक्ति पर अपनी बच्ची समेत परिवार के सदस्यों की हत्या करने का आरोप था।

अदालत ने कहा कि किसी आरोपी को केवल संदेह के आधार पर दोषी नहीं ठहराया जा सकता।

न्यायमूर्ति बी. आर. गवई, न्यायमूर्ति प्रशांत कुमार मिश्रा और न्यायमूर्ति के. वी. विश्वनाथन की पीठ ने दोषी के पड़ोसी की गवाही को खारिज कर दिया। पड़ोसी ने कहा था कि दोषी और उसके परिवार के सदस्यों मां और पत्नी के बीच कथित तौर पर झगड़े होते थे।

 ⁠

पीठ ने कहा, ‘‘यह स्थापित कानून है कि संदेह, चाहे कितना भी मजबूत क्यों न हो, उचित संदेह से परे सबूत का स्थान नहीं ले सकता। किसी अभियुक्त को केवल संदेह के आधार पर दोषी नहीं ठहराया जा सकता। किसी अभियुक्त को तब तक निर्दोष माना जाता है जब तक कि उसे उचित संदेह से परे दोषी साबित न कर दिया जाए।’’

पीठ ने निचली अदालत और बम्बई उच्च न्यायालय के फैसलों में दी गई मौत की सजा को खारिज कर दिया।

गवाही पर विचार करते हुए उच्चतम न्यायालय ने घटना के दिन से पड़ोसी के बयान को दर्ज करने में छह दिन की देरी की ओर ध्यान दिलाया और साथ ही यह भी कहा कि इसकी पुष्टि करने वाला कोई नहीं था।

उच्चतम न्यायालय ने कहा कि गवाही से यह साबित नहीं होता कि पड़ोसी ने घटना देखी थी या नहीं।

पीठ ने कहा कि गवाह की गवाही के अभाव में मामला परिस्थितिजन्य साक्ष्य का होगा। उच्चतम न्यायालय ने अभियोजन पक्ष द्वारा दोषी पर अपराध के लिए लगाए गए आरोप को भी खारिज कर दिया।

महाराष्ट्र के पुणे जिले के रहने वाले विश्वजीत कर्बा मसकलर को अपने परिवार के सदस्यों की कथित तौर पर हत्या करने के लिए मौत की सजा सुनाई गई थी, क्योंकि परिवार के सदस्यों ने उसकी दूसरी महिला से शादी करने की इच्छा पर आपत्ति जताई थी।

पड़ोसी की गवाही के अनुसार उसने अपनी पत्नी को तलाक देने का फैसला कर लिया था।

विश्वजीत ने चार अक्टूबर 2012 को पुलिस नियंत्रण कक्ष को अपने घर पर डकैती की सूचना दी थी तथा बताया था कि उनकी मां, पत्नी और बेटी की हत्या कर दी गई है तथा कुछ नकदी और आभूषण चोरी हो गए हैं।

पुलिस ने हालांकि उसे हत्या के आरोप में गिरफ्तार कर लिया था।

भाषा

देवेंद्र पवनेश

पवनेश


लेखक के बारे में