उत्तराखंड: बागेश्वर विधानसभा सीट पर उपचुनाव के लिए प्रचार का शोर थमा, मतदान मंगलवार को |

उत्तराखंड: बागेश्वर विधानसभा सीट पर उपचुनाव के लिए प्रचार का शोर थमा, मतदान मंगलवार को

उत्तराखंड: बागेश्वर विधानसभा सीट पर उपचुनाव के लिए प्रचार का शोर थमा, मतदान मंगलवार को

:   Modified Date:  September 3, 2023 / 06:22 PM IST, Published Date : September 3, 2023/6:22 pm IST

देहरादून, तीन सितंबर (भाषा) उत्तराखंड की बागेश्वर विधानसभा सीट पर पांच सितंबर को होने वाले उपचुनाव के लिए चुनाव प्रचार रविवार शाम समाप्त हो गया।

बागेश्वर की जिलाधिकारी अनुराधा पॉल ने बताया कि शाम पांच बजे चुनाव प्रचार समाप्त हो गया। उन्होंने बताया कि मंगलवार को मतदान होगा, जो सुबह सात बजे से शुरू होगा। मतगणना आठ सितंबर को होगी।

कैबिनेट मंत्री चंदन राम दास का इस साल अप्रैल में बीमारी के चलते निधन हो जाने के कारण इस सीट पर उपचुनाव कराया जा रहा है।

उपचुनाव में प्रदेश में दो राजनीतिक दलों भाजपा और कांग्रेस के बीच सीधा मुकाबला है। भाजपा ने यहां चंदन राम दास की पत्नी पार्वती दास को उम्मीदवार बनाया है, जबकि कांग्रेस ने बसंत कुमार को अपना प्रत्याशी बनाया है। दोनों दलों ने अपने-अपने प्रत्याशी की जीत सुनिश्चित करने के लिए पूरी ताकत झोंक दी है। हालांकि, कुछ अन्य दलों ने भी अपने प्रत्याशी उतारे हैं।

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने चुनाव प्रचार के आखिरी दिन काफलीगैर में एक जनसभा को संबोधित किया और पार्टी प्रत्याशी पार्वती के लिए वोट मांगा। उन्होंने जनता से कहा कि बागेश्वर में बैजनाथ धाम होने से यह भगवान शिव की नगरी है और इसलिए यहां से भाजपा उम्मीदवार पार्वती दास को जिताएं।

उन्होंने कहा कि केंद्र और राज्य सरकार की बदौलत बागेश्वर का चहुमुंखी विकास हो रहा है, जबकि दिवंगत चंदन राम दास भी आजीवन बागेश्वर के लिए सेवा करते रहे और उनके अधूरे कामों को पूरा करने के लिए (उनकी पत्नी) पार्वती (दास) को जिताना जरूरी है ।

उधर, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष करन माहरा ने कहा कि आज मंहगाई, बेरोजगारी, महिलाओं का उत्पीड़न तथा भ्रष्टाचार अपने चरम पर है और आम आदमी को दो वक्त की रोटी के लिए भी संघर्ष करना पड़ रहा है।

उन्होंने आरोप लगाया कि धामी अपने अभी तक के कार्यकाल में कोई विशेष काम नहीं कर पाए हैं और केवल प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नाम का सहारा लेकर सत्ता पर काबिज हैं। माहरा ने कहा कि बागेश्वर की जनता केंद्र और राज्य सरकार के खिलाफ आक्रोशित है और पांच सितंबर को होने वाले उपचुनाव में उन्हें करारा जवाब देगी।

भाषा दीप्ति दीप्ति सुभाष

सुभाष

 

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