Nadi Jodo Pariyojna| Photo Credit: IBC24 File
भोपाल। Regional Industry Conclave : मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि मध्यप्रदेश के औद्योगिक परिदृश्य को और सशक्त बनाने के उद्देश्य से 23 अक्टूबर को रीवा में प्रदेश की पांचवीं रीजनल इंडस्ट्री कॉन्क्लेव होने जा रही है। इसका मुख्य उद्देश्य विंध्य क्षेत्र को निवेश और औद्योगिक अवसरों के केंद्र के रूप में स्थापित करना है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि वर्ष 2025 को ‘उद्योग एवं रोजगार वर्ष’ घोषित किया गया है। इसके दृष्टिगत प्रदेश में हुई आरआईसी को एक महत्वपूर्ण पड़ाव के रूप में देखा जा रहा है।
रीवा स्थित कृष्णा राज कपूर ऑडिटोरियम में होने वाली कॉन्क्लेव में 4 हजार से अधिक प्रतिभागियों ने पंजीकरण कराया है, जिसमें 50 से अधिक प्रमुख निवेशक और 3 हजार से अधिक एमएसएमई उद्यमी शामिल होंगे। सम्मेलन का मुख्य फोकस राज्य के प्रमुख क्षेत्रों— ऊर्जा, खनन, कृषि, डेयरी, खाद्य प्र-संस्करण, पर्यटन एवं हस्तशिल्प में निवेश को प्रोत्साहित करने पर होगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव की इस पहल का उद्देश्य राज्य में निवेशकों और उद्यमियों के बीच एक सार्थक संवाद स्थापित करना है, जिससे औद्योगिक विकास के नए द्वार खुलेंगे।
कॉन्क्लेव में राज्य सरकार के विभिन्न विभाग औद्योगिक नीति एवं निवेश प्रोत्साहन, एमएसएमई, आईटी, खनन, ऊर्जा और पर्यटन विभागों द्वारा प्रमुख प्रस्तुतियां दी जाएंगी। इसके अलावा नवीन एवं नवकरणीय ऊर्जा पर एक विशेष राउंडटेबल-सत्र भी आयोजित किया जाएगा, जिसमें उद्योग के उभरते अवसरों और चुनौतियों पर विचार-विमर्श होगा। चार सेक्टोरल-सत्र भी होंगे, जो एमएसएमई, स्टार्टअप्स, खनन एवं खनिज, पर्यटन और कुटीर उद्योगों में निवेश अवसरों पर केंद्रित होंगे।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव से 20 से अधिक निवेशक वन-टू-वन बैठक करेंगे, जिससे सरकार और निवेशकों के बीच सीधा संवाद स्थापित हो सकेगा। साथ ही, मुख्यमंत्री डॉ. यादव द्वारा रीवा आईटी पार्क और चुरहटा औद्योगिक क्षेत्र में विद्युत उपकेंद्र सहित 20 से अधिक औद्योगिक प्रतिष्ठानों का वर्चुअल भूमिपूजन किया जाएगा। इसके अलावा, 80 से अधिक निवेशकों को भूमि आवंटन पत्र भी वितरित किए जाएंगे, जो प्रदेश में निवेश की प्रक्रिया को और सरल बनाएंगे।
कॉन्क्लेव में ओडीओपी (एक जिला-एक उत्पाद) और जी-2-सी (सरकार से नागरिक) स्टॉल भी स्थापित किए जाएंगे। इनमें एमपी इंडस्ट्रियल डेवेलपमेंट कॉर्पोरेशन, एमपी स्टेट इलेक्ट्रॉनिक डेवेलपमेंट कॉर्पोरेशन, डायरेक्टोरेट ऑफ़ फ़ॉरेन ट्रेड, कस्टम विभाग, ईसीजीसी लिमिटेड, फेडरेशन ऑफ़ इंडियन एक्सपोर्ट और हस्तशिल्प विकास निगम सहित 16 से अधिक विभाग और संस्थान शामिल होंगे। यह प्रदर्शनी उद्यमियों को सरकारी योजनाओं और नीतियों की विस्तृत जानकारी प्रदान करेगी, जिससे वे अपने व्यावसायिक निर्णयों को प्रभावी ढंग से ले सकेंगे।
कॉन्क्लेव का उद्देश्य न केवल व्यापारिक अवसरों को बढ़ावा देना है, बल्कि निवेशकों और उद्यमियों के लिए राज्य में उद्योग स्थापित करने की प्रक्रिया को और आसान बनाना है। बिज़नेस प्रमोशन सेंटर के अंतर्गत, विभिन्न ट्रेड एसोसिएशन और सरकारी विभागों के प्रतिनिधि व्यापारिक संभावनाओं पर विस्तृत चर्चा करेंगे। एमपी इंडस्ट्रियल डेवेलपमेंट कॉर्पोरेशन (एमपीआईडीसी) द्वारा व्यापारिक प्रक्रियाओं को सरल बनाने के लिए नवीनतम नीतियों और योजनाओं की जानकारी दी जाएगी।
कॉन्क्लेव में नवीन एवं नवकरणीय ऊर्जा पर एक विशेष राउंड टेबल-सत्र होगा, जिसमें उद्योग जगत के विशेषज्ञ पर्यावरणीय संतुलन और औद्योगिक विकास पर चर्चा करेंगे। साथ ही, चार थीमेटिक-सत्रों के माध्यम से एमएसएमई, स्टार्टअप्स, खनन, पर्यटन और कुटीर उद्योगों में उभरते अवसरों पर विचार-विमर्श होगा।
रीवा में होने वाली कॉन्क्लेव विंध्य क्षेत्र के औद्योगिक विकास में मील का पत्थर साबित होगा। मुख्यमंत्री डॉ.यादव की पहल पर आयोजित इस कार्यक्रम का उद्देश्य न केवल स्थानीय उद्योगों को प्रोत्साहित करना है, बल्कि पूरे मध्यप्रदेश को एक औद्योगिक केंद्र के रूप में स्थापित करना है। ‘इन्वेस्ट मध्यप्रदेश ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट 2025’ के लिए जारी किए गए विशेष आमंत्रण के साथ, यह सम्मेलन राज्य के आर्थिक विकास और निवेश के लिए नए अवसरों का द्वार खोलने में सहायक सिद्ध होगा।
वाइब्रेंट विंध्य का यह आयोजन न केवल विंध्य क्षेत्र, बल्कि पूरे मध्यप्रदेश के औद्योगिक परिदृश्य को एक नई दिशा देने का कार्य करेगा। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की नेतृत्व में प्रदेश सरकार के समर्पण और प्रयासों से राज्य जल्द ही एक औद्योगिक केंद्र के रूप में उभरने की राह पर अग्रसर है।