महाराष्ट्र: रंग पंचमी पर हजारों लोगों ने पारंपरिक बागड़ यात्रा में शिरकत की

महाराष्ट्र: रंग पंचमी पर हजारों लोगों ने पारंपरिक बागड़ यात्रा में शिरकत की

महाराष्ट्र: रंग पंचमी पर हजारों लोगों ने पारंपरिक बागड़ यात्रा में शिरकत की
Modified Date: March 20, 2025 / 03:27 pm IST
Published Date: March 20, 2025 3:27 pm IST

सतारा, 20 मार्च (भाषा) महाराष्ट्र के सतारा जिले के वाई शहर में भगवान भैरवनाथ के जयकारे के साथ पारंपरिक ‘बागड़’ रथ यात्रा निकाली गई, जिसमें हजारों श्रद्धालु शामिल हुए।

फाल्गुन माह में रंग पंचमी के दिन प्रतिवर्ष निकाले जाने वाली बागड़ यात्रा भगवान भैरवनाथ से किये गए प्रण के पूरा होने का प्रतीक है।

बावधन गांव में बुधवार को काफी संख्या में लोग ‘काशीनाथाचा चंगभाल’ (भगवान काशीनाथ की जय) का नारा लगाते हुए महाराष्ट्र की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को दर्शाने वाले इस उत्सव में भाग लेने के लिए एकत्र हुए।

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इस उत्सव का मुख्य आकर्षण ‘बागड़’ है, जो स्थानीय बढ़ई समुदाय द्वारा बनाया गया एक विशाल लकड़ी का रथ है।

रथ का धुरा पारंपरिक रूप से चंदन की लकड़ी का बना होता है, जबकि इसके पहिये पत्थर को तराश कर बनाये गए होते हैं। खिल्लर बैल इस दो से तीन टन वजनी रथ को खींचते हैं। ये बैल अपनी असाधारण शक्ति के लिए जाने जाते हैं।

श्रद्धालुओं के अनुसार, बागड़ यात्रा का इतिहास 350 वर्ष पुराना है।

गांव के एक श्रद्धालु धनंजय घोडके ने कहा, ‘‘बावधन के ग्रामीणों के लिए बागड़ यात्रा एकता का प्रतीक है, जिसमें पूरा समुदाय इसकी सफलता सुनिश्चित करने के लिए एकजुट होता है।’’

भाषा यासिर सुभाष

सुभाष


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