पालघर: मिट्टी धंसने की घटना में खुदाई संचालक का पांच दिन बाद भी पता नहीं चला

पालघर: मिट्टी धंसने की घटना में खुदाई संचालक का पांच दिन बाद भी पता नहीं चला

पालघर: मिट्टी धंसने की घटना में खुदाई संचालक का पांच दिन बाद भी पता नहीं चला
Modified Date: June 3, 2024 / 10:17 am IST
Published Date: June 3, 2024 10:17 am IST

पालघर, तीन जून (भाषा) महाराष्ट्र के पालघर जिले में पांच दिन पहले एक जल परियोजना स्थल पर मिट्टी धंसने के बाद मलबे में दबे खुदाई संचालक का बचावकर्मी अभी तक पता नहीं लगा पाए हैं। अधिकारियों ने सोमवार को यह जानकारी दी।

उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) और अन्य बचाव दल घटनास्थल पर चौबीसों घंटे काम कर रहे हैं, लेकिन न तो मशीन और न ही उसके संचालक का पता चल पाया है।

घटना 29 मई की रात करीब नौ बजे हुई। मुंबई से करीब 50 किलोमीटर दूर सासुन नवघर गांव में सूर्या जलापूर्ति परियोजना स्थल पर एक सुरंग शाफ्ट पर काम के दौरान मिट्टी और दीवार का ढांचा ढह गया। इसमें खुदाई संचालक फंस गया था।

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घटना के बाद राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) सहित विभिन्न एजेंसियों की मदद से तलाशी अभियान शुरू किया गया।

पालघर जिला आपदा प्रकोष्ठ के प्रमुख विवेकानंद कदम ने सोमवार को ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि सभी आवश्यक सुरक्षा उपाय उपलब्ध कराने के बावजूद संबंधित श्रमिकों ने शाफ्ट के अंदर काम करने से इनकार कर दिया।

उन्होंने घटनास्थल पर मौजूद एक अधिकारी के हवाले बताया, ‘‘हम अब खनन मशीनों की मदद से ढहे मलबे को तोड़कर शाफ्ट से बाहर निकाल रहे हैं।’

अधिकारियों के अनुसार, सूर्या क्षेत्रीय जल आपूर्ति योजना मुंबई महानगर क्षेत्र विकास प्राधिकरण (एमएमआरडीए) की एक पहल है, जिसका उद्देश्य मुंबई महानगर क्षेत्र में लगातार बढ़ती आबादी को पीने का पानी उपलब्ध कराना है।

इसके तहत एक जल शोधन संयंत्र स्थापित किया गया और उपचारित पानी की आपूर्ति के लिए बुनियादी ढांचे का निर्माण किया गया। इस योजना के तहत, मीरा-भायंदर और वसई-विरार नगर निगमों के अंतर्गत आने वाले क्षेत्रों और पालघर जिले के आसपास के गांवों को 403 एमएलडी (प्रति दिन मिलियन लीटर) पानी उपलब्ध कराया जाएगा।

भाषा शुभम

वैभव

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