‘गद्दार’, ‘बागी’, ‘कटप्पा’…. इन नामों से गूंजी मुंबई, दशहरा रैली बना सियासी अखाड़ा
‘गद्दार’, ‘बागी’, ‘कटप्पा’.... इन नामों से गूंजी मुंबई, दशहरा रैली बना सियासी अखाड़ा : shinde and uddhav in mumbai Dussehra rally, gaddar, Baghi, Katappa
मुंबई। Maharashtra Political Crisis : महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उनके पूर्ववर्ती उद्धव ठाकरे के बीच बुधवार को तलवारें खिंच गईं और शिवसेना के दोनों गुटों द्वारा आयोजित दशहरा रैलियों में ‘गद्दार’, ‘बागी’, ‘बगावत’ जैसे शब्दों की गूंज सुनायी दी। जून में महाराष्ट्र में सत्ता परिवर्तन के बाद आज की दशहरा रैली शिवसेना के दोनों गुटों के लिए शक्ति प्रदर्शन का उचित अवसर थी।
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शिवाजी पार्क की दशहरा रैली में जहां उद्धव ठाकरे ने शिंदे और उनके समर्थकों को सत्ता के लिए भाजपा से हाथ मिलाने को लेकर ‘विश्वासघाती’ बताया, वहीं मुख्यमंत्री ने कहा कि 2019 में शिवसेना-भाजपा गठबंधन को जनादेश मिलने के बावजूद राकांपा-कांग्रेस के साथ मिलकर सरकार बनाकर ठाकरे ने जनता को ‘धोखा’ दिया है।
ठाकरे ने जहां करीब 43 मिनट लंबा भाषण दिया, वहीं बीकेसी में शिंदे का भाषण करीब डेढ घंटे चला। शिवाजी पार्क में शिवसेना 1966 से ही दशहरा रैली का आयोजन करती रही है। शिंदे ने शिवसेना से जून में अलग होने को ‘गद्दारी’ नहीं, बल्कि ‘गदर’ करार दिया और उद्धव ठाकरे से कहा कि कांग्रेस-राकांपा से हाथ मिलाकर बाल ठाकरे के मूल्यों से समझौता करने के लिए उन्हें अपने दिवंगत पिता के स्मारक के सामने घुटने टेककर माफी मांगनी चाहिए।
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