Kaali Aarti : ‘मंगल’ की सेवा, सुन मेरी देवा ! हाथ जोड़ तेरे द्वार खड़े। पान-सुपारी, ध्वजा-नारियल ले ज्वाला तेरी भेंट धरे।।

I am standing at your door with folded hands to serve 'Mangal'. Jwala is offering you betel-nut, flag-coconut

Kaali Aarti : ‘मंगल’ की सेवा, सुन मेरी देवा ! हाथ जोड़ तेरे द्वार खड़े। पान-सुपारी, ध्वजा-नारियल ले ज्वाला तेरी भेंट धरे।।

Jwala kali maa ki aarti

Modified Date: October 5, 2024 / 05:45 pm IST
Published Date: August 10, 2024 5:10 pm IST

Kaali Aarti : माता के हर रूप की आरतियां प्रचलित हैं। माता कालिका की कई आरतियां प्रचलित हैं। मां भवानी का एक रूप ज्वाला भी है। माता ज्वाला देवी शक्ति के 51 शक्तिपीठों में से एक हैं। इनकी पूजा करने से इंसान को सुख-शांति और वैभव की प्राप्ति होती है।

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Kaali Aarti : आईये पढ़ते हैं ज्वाला काली माँ की आरती

‘मंगल’ की सेवा, सुन मेरी देवा!
हाथ जोड़ तेरे द्वार खड़े।
पान-सुपारी, ध्वजा-नारियल
ले ज्वाला तेरी भेंट धरे।।
सुन जगदम्बे न कर बिलंबे
संतन के भंडार भरे।
संतन प्रतिपाली सदा खुशाली।
जै काली कल्याण करे।।टेक।।
‘बुद्ध’ विधाता तू जगमाता
मेरा कारज सिद्ध करे।
चरण कमल का लिया आसरा
शरण तुम्हारी आन परे।।

Kaali Aarti

जब-जब भीर पड़े भक्तन पर
तब-तब आय सहाय करे।
संतन प्रतिपाली०।।
‘गुरु’ के बार सकल जग मोह्यो
तरुणी रूप अनूप धरे।
माता होकर पुत्र खिलावै,
कहीं भार्या भोग करे।।
‘शुक्र’ सुखदाई सदा सहाई
संत खड़े जयकार करे।
संतन प्रतिपाली०।।

Kaali Aarti

ब्रह्मा विष्णु महेस फल लिये
भेंट देन तव द्वार खड़े।
अटल सिंहासन बैठी माता
सिर सोने का छत्र फिरे।।
वार ‘शनिश्चर’ कुंकुम बरणी,
जब लुंकड़ पर हुकुम करे।
संतन प्रतिपाली०।।

Kaali Aarti

खड्ग खपर त्रैशूल हाथ लिये
रक्तबीजकूं भस्म करे।
शुंभ निशुंभ क्षणहि में मारे
महिषासुर को पकड़ दले।।
‘आदित’ वारी आदि भवानी
जन अपने का कष्ट हरे।
संतन प्रतिपाली०।।
कुपित होय कर दानव मारे
चण्ड मुण्ड सब चूर करे।
जब तुम देखौ दयारूप हो,
पल में संकट दूर टरे।।

Kaali Aarti

‘सोम’ स्वभाव धर्यो मेरी माता
जनकी अर्ज कबूल करे।
संतन प्रतिपाली०।।
सात बार की महिमा बरनी
सब गुण कौन बखान करे।
सिंहपीठ पर चढ़ी भवानी
अटल भवन में राज्य करे।।
दर्शन पावें मंगल गावें
सिध साधक तेरी भेंट धरे।
संतन प्रतिपाली०।।

Kaali Aarti

ब्रह्मा वेद पढ़े तेरे द्वारे
शिवशंकर हरि ध्यान करे।
इन्द्र कृष्ण तेरी करैं आरती
चमर कुबेर डुलाय करे।।
जय जननी जय मातु भवानी
अचल भवन में राज्य करे।
संतन प्रतिपाली सदा खुशाली
जय काली कल्याण करे।।
संतन प्रतिपाली०।।

 


लेखक के बारे में

Swati Shah, Since 2023, I have been working as an Executive Assistant at IBC24, No.1 News Channel in Madhya Pradesh & Chhattisgarh. I completed my B.Com in 2008 from Pandit Ravishankar Shukla University, Raipur (C.G). While working as an Executive Assistant, I enjoy posting videos in the digital department.