shmashan ghat par mahilao ka jana kyo hai varjit : नई दिल्ली। हिंदू रीति रिवाज के अनुसार जब किसी व्यक्ति की मृत्यु हो जाती है तो उसे श्मशान घाट पर ले जाकर दाह संस्कार किया जाता है। आपने देखा होगा कि श्मशान घाट पर महिलाएं कभी नहीं जाती हैं। इसके पीछे कारण क्या है आपने कभी सोचा है। जब भी किसी पुरुष या स्त्री की मौत होती है तो घर के चौखट तक ही महिलाओं का योगदान रहता है लेकिन श्मशान घाट पर सारे कर्मकांड को पुरुषों के द्वारा ही पूरा किया जाता है।
shmashan ghat par mahilao ka jana kyo hai varjit : मान्यताओं के अनुसार, पुरुषों के मुकाबले महिलाओं का मन ज्यादा चंचल होता है। कहते हैं कि श्मशान घाट में महिलाओं के रोने की आवाज से मृत व्यक्ति की आत्मा को शांति नहीं मिलती है। औरतों को रोता देखकर आत्माएं भी रोने लगती हैं। जब मृत व्यक्ति की चिता जलाई जाती है, तब हड्डियों के अकड़ने की आवाज आती है। कहते हैं इन आवाजों से महिलाएं और बच्चें डर सकते हैं।
shmashan ghat par mahilao ka jana kyo hai varjit : गरुड़ पुराण में वर्णित कथा के अनुसार महिलाओं को पुरुषों की अपेक्षा में कमजोर दिल का माना जाता है और ऐसी मान्यता है कि मृत शरीर को अग्नि देते समय अगर कोई रोता है तो उसके आत्मा को शांति नहीं मिलती और ऐसे समय में महिलाओं को शव को जलते हुए देखना और रोए भी ना रुक जाना असंभव सा लगता है इसीलिए महिलाओं को श्मशान घाट जाना वर्जित है। श्मशान घाट में और भी ऐसी चीजें मौजूद है जिसको देखना महिला और बच्चों के लिए उचित नहीं है जैसे शव को जलाने से पूर्व उसके कपाल पर डंडे से मारा जाता है जो कि एक पौराणिक परंपरा है जो कि महिलाओ और बच्चों के लिए यह दृश्य देखना उनको मानसिक स्तर पर भी प्रभावित कर सकता है इसलिए उन्हें श्मशान घाट जाना वर्जित किया गया है।
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shmashan ghat par mahilao ka jana kyo hai varjit : शास्त्रों के जानकार बताते हैं कि श्मशान घाट पर बुरी आत्माओं का वास होता है और ये बुरी आत्माएं या नकारात्मक ऊर्जा लंबे-काले बालों की ओर आकर्षित होती है। ऐसा माना जाता है कि श्मशान घाट पर जलाए गए सभी लोग को मुक्ति नहीं मिल पाती है। उनमें से कुछ लोगों की आत्माएं वहीं भटकती रहती हैं और वह महिलाओं को अपना निशाना बनाती हैं इसलिए जब पुरुष दाह संस्कार की क्रिया को खत्म करते हैं तो अपने बाल वहीं अर्पित करके चले आते हैं लेकिन महिलाएं बालों को अर्पित नहीं कर सकती हैं। इस वजह से उन्हें श्मशान घाट पर नहीं जाना चाहिए।
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