Vatsalya Yojana: केंद्र सरकार ने एक महत्वपूर्ण पहल करते हुए बच्चों के लिए एक योजना की शुरूआत की है। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आज एनपीएस वात्सल्य योजना का शुभारंभ किया। जिसका उद्देश्य कम उम्र से ही बच्चों की वित्तीय सुरक्षा सुनिश्चित करना है। 18 वर्ष से कम आयु के बच्चे इस योजना का लाभ उठा सकते हैं।
एनपीएस वात्सल्य योजना, अनिवासी भारतीयों (NRI) और ओवरसीज सिटीजन ऑफ इंडिया (OCI) कार्डधारकों के लिए भी उपलब्ध है। जब नाबालिग की आयु 18 वर्ष हो जाती है, तो एनपीएस वात्सल्य खाता एक नियमित एनपीएस खाते में परिवर्तित हो जाता है। कुछ मामलों में बच्चे के 18 साल का होने से पहले भी NPS वात्सल्य अकाउंट से कुछ पैसा निकाला जा सकता है।
एनपीएस वात्सल्य की शुरूआत भारत की युवा पीढ़ी के लिए अधिक वित्तीय रूप से सुरक्षित और स्वतंत्र भविष्य बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। यह योजना पेंशन फंड नियामक और विकास प्राधिकरण (PFRDA) के तहत संचालित होगी।
ऑनलाइन प्लेटफ़ॉर्म eNPS एनपीएस वात्सल्य खाता खोलने का सबसे सटीक तरीका है। यह आपको खाता खोलने और अतिरिक्त योगदान आसानी से करने की अनुमति देता है। इस योजना के लिए पंजीकरण प्रक्रिया सरल है। आधार और डिजीलॉकर आदि सहित कई तरीके उपलब्ध हैं। एनपीएस वात्सल्य खाता खोलने के लिए इन तीन वेबसाइट की मदद ली जा सकती है:
https://enps.nsdl.com/eNPS/NPSVatsalyaPensionSystem.html,
https://app.camsnps.com/CRA/auth/enps/register?source=eNPS
https://nps.kfintech.com/registration/subscriberRegistration/Minor
एनपीएस वात्सल्य माता-पिता को पेंशन खाते में निवेश करके अपने बच्चों के भविष्य के लिए बचत करने में सक्षम बनाता है। जिससे उन्हें दीर्घकालिक धन के लिए चक्रवृद्धि ब्याज का लाभ मिलता है। यह लचीले योगदान और निवेश विकल्प प्रदान करता है, जिससे माता-पिता अपने बच्चे के नाम पर प्रति वर्ष 1,000 रुपये से भी कम निवेश कर सकते हैं। यह सभी आर्थिक पृष्ठभूमि वाले परिवारों के लिए सुलभ है।
NPS Vatsalya calculator: NPS वात्सल्य योजना आगे चलकर माता-पिता की आर्थिक जिम्मेदारी का भार कम करने में भी मदद कर सकती है। मोदी सरकार ने देश के बच्चों के भविष्य को सुरक्षित करने के मकसद से एनपीएस वात्सल्य योजना (NPS Vatsalya Yojana) शुरू की है। जिसके तहत माता-पिता और अभिभावक अपने बच्चों के बेहतर आर्थिक भविष्य के लिए निवेश कर सकते हैं।
इस स्कीम में माता-पिता बच्चों के नाम से NPS वात्सल्य अकाउंट (NPS Vatsalya Account) खोल सकते हैं। इस योजना के जरिये नेशनल पेंशन स्कीम (NPS) का विस्तार किया गया है। NPS की तरह NPS Vatsalya Scheme को भी पेंशन फंड नियामक और विकास प्राधिकरण (Pension Fund Regulatory and Development Authority – PFRDA) द्वारा ही मैनेज किया जाएगा।
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बच्चे के 18 साल का होने पर माता-पिता चाहें तो इस स्कीम से एग्जिट कर सकते हैं। लेकिन शर्त यह है कि एन्युटी प्लान (Annuity Plan) खरीदने के लिए मैच्योरिटी अमाउंट का कम से कम 80% फिर से निवेश करना होगा और केवल 20% अमाउंट ही एकमुश्त निकाला जा सकता है।
NPS वात्सल्य स्कीम में माता-पिता या अभिभावकों को सालाना कम से कम 1,000 रुपये का निवेश करना होगा। इसमें निवेश करने की कोई अपर लिमिट (Upper limit) नहीं है वो जितना चाहें उतना इस स्कीम में निवेश कर सकते हैं। इसलिए माता-पिता के पास यह फ्लैक्सिबिलिटी होगी कि वे छोटी राशि से शुरुआत करें और जैसे-जैसे उनका बच्चा बड़ा हो, निवेश राशि को बढ़ाते जाएं।
NPS वात्सल्य स्कीम का अगर आप फायदा उठाना चाहते हैं तो उसके लिए, आपको भारत का नागरिक होना चाहिए, और आपके बच्चे की उम्र 18 साल से कम होनी चाहिए। यह भी जरूरी है कि इसमें शामिल सभी पक्ष KYC रिक्वायरमेंट को पूरा करें।
NPS वात्सल्य के फायदों के बारे में बता दें कि यह स्कीम आपके बच्चे के लिए लॉन्ग टर्म फाइनेंशियल प्लानिंग और सिक्योरिटी ऑफर करती है। साथ ही जल्दी पेंशन प्लान शुरू करने के कॉन्सेप्ट पर जोर देती है। इस सेविंग स्कीम से माता-पिता में भी बचत और निवेश की आदत को बढ़ावा मिलेगा।
NPS वात्सल्य योजना आगे चलकर माता-पिता की आर्थिक जिम्मेदारी का भार कम करने में भी मदद कर सकती है। क्योंकि इसका मैच्योरिटी अमाउंट उनके बच्चे की हायर एजुकेशन या बिजनेस शुरू करने के काम आ सकता है।
रजिस्ट्रेशन के तीन साल बाद, आप कुल योगदान राशि का 25% तक निकाल सकते हैं, बच्चे के वयस्क होने तक आपको तीन बार पैसा निकालने की सुविधा मिलती है। PFRDA दिशानिर्देशों के मुताबिक, शिक्षा, गंभीर बीमारियों के इलाज, या 75% से ज्यादा विकलांगता की स्थिति में 25 फीसदी रकम निकाली जा सकती है।
जब बच्चा 18 साल का हो जाएगा, तो यह अकाउंट रेगुलर NPS अकाउंट में बदल जाएगा। इसलिए फ्रेश KYC तीन महीने के भीतर पूरी करनी होगी। सब्सक्राइबर्स NPS से बाहर निकल सकते हैं, लेकिन शर्त ये है कि कम से कम 80% कॉर्पस को वार्षिकी योजना (annuity plan) में फिर से निवेश करना होगा, जबकि 20% एकमुश्त राशि (lump sum) के तौर पर निकाला जा सकता है। यदि कुल राशि 2.5 लाख रुपये से कम है, तो पूरी राशि एक साथ निकाली जा सकती है।
आइए जानते हैं कि NPS वात्सल्य स्कीम में निवेश करने से आपके बच्चे के 18 साल का होने तक उसके लिए बड़ा फंड जुटाने में कैसे मदद मिल सकती है।
यदि आप अपने बच्चे के लिए इस योजना के तहत प्रति माह 1,000 रुपये का निवेश करते हैं।
निवेश अवधि: 18 साल
सालाना रिटर्न: 12.86%
इस तरह 18 सालों में निवेश की गई कुल राशि: 2,16,000 रुपये (1,000 रुपये प्रति माह x 12 महीने x 18 साल)
इस पर कमाया कुल ब्याज: 6,32,718 रुपये
18 साल की उम्र में कुल राशि: करीब 8,48,000 रुपये
Historical Average Return: 12.86% की यह दर NPS की स्थापना के बाद से हिस्टोरिकल एवरेज को दर्शाती है, जिसमें 19 जुलाई, 2024 तक इक्विटी में 75% और गवर्नमेंट सिक्योरिटीज (G-Sec) में 25% का पोर्टफोलियो एलोकेशन शामिल है।
NPS वात्सल्य नियमों के मुताबिक, मैच्योरिटी अमाउंट का 80% (6,78,400 रुपये) वार्षिकी योजना (annuity scheme) में अनिवार्य रूप से दोबारा निवेश किया जाना चाहिए, जिसका मतलब है कि केवल 20% (1,69,600 रुपये) ही एकमुश्त के रूप में निकाला जा सकता है।
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यहां बताया गया है कि 18 सालों तक हर साल 10,000 रुपये का निवेश डिफरेंट रेट ऑफ रिटर्न (Rates of Return – RoR) के तहत कैसे बढ़ सकता है (सोर्स: SBI पेंशन फंड वेबसाइट)
– 18 साल की उम्र में: 10% के RoR के साथ, जमा राशि लगभग 5 लाख रुपये होगी।
– 60 साल की उम्र में: यदि वही निवेश रिटायरमेंट तक जारी रहता है, तो 10% RoR पर कॉर्पस 2.75 करोड़ रुपये और 11.59% के हिस्टोरिकल एवरेज रिटर्न पर 5.97 करोड़ रुपये तक बढ़ सकता है। जो 19 जुलाई, 2024 तक 50% इक्विटी, 30% कॉर्पोरेट डेट और 20% गवर्नमेंट सिक्योरिटीज में एलोकेशन को रिफ्लेक्ट करता है।
– 12.86% RoR के साथ, यह 10,000 रुपये का सालाना निवेश 75% इक्विटी और 25% गवर्नमेंट सिक्योरिटीज के पोर्टफोलियो एलोकेशन के आधार पर बढ़कर 11.05 करोड़ रुपये हो जाएगा।
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