Originality is essential in research, research and innovation - Vice Chancellor Prof. Chakrawal

शोध, अनुसंधान और नवाचार में मौलिकता जरूरी- कुलपति प्रो. चक्रवाल

Originality is essential in research, research and innovation - Vice Chancellor Prof. Chakrawal

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:51 PM IST, Published Date : December 14, 2021/5:52 am IST

Vice Chancellor Prof Chakrawal : बिलासपुर। गुरू घासीदास विश्वविद्यालय (केन्द्रीय विश्वविद्यालय) की शिक्षा विद्यापीठ के अंतर्गत शिक्षा विभाग में भारतीय सामाजिक विज्ञान परिषद नई दिल्ली द्वारा ऑनलाइन रिसर्च मैथडोलॉजी पर प्रायोजित दस दिवसीय कोर्स का आयोजन दिनांक 13 दिसंबर, 2021 से को सुबह 11 बजे ऑनलाइन माध्यम से प्रारंभ हुआ। दस दिवसीय कोर्स का विषय ‘‘क्वांटिटेटिव रिसर्च मैथड्स एंड यूज ऑफ स्टेटिस्टिकल सॉफ्टवेयर फार सोशल साइंस रिसर्चस‘‘ है।

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कार्यशाला के उद्घाटन कार्यक्रम में सर्वप्रथम आयोजन समिति की सह-समन्वयक डॉ. ज्योति वर्मा सहायक प्राध्यापक शिक्षा विभाग ने अतिथि एवं प्रतिभागियों का स्वागत किया। संयोजक डॉ. सी.एस. वझलवार सह-प्राध्यापक शिक्षा विभाग ने कार्यशाला के विषय का प्रवर्तन किया। शिक्षा विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. सुजीत कुमार मिश्रा ने समसामयिक विषय पर कार्यशाला आयोजित करने पर हर्ष जताया।

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Vice Chancellor Prof Chakrawal : उद्घाटन कार्यक्रम के मुख्य अतिथि एवं कार्यशाला के मुख्य संरक्षक विश्वविद्यालय के माननीय कुलपति महोदय प्रोफेसर आलोक कुमार चक्रवाल ने कहा कि वैश्विक पटल पर स्थापित होने के लिए शोध, अनुसंधान एवं नवाचार के साथ उसकी विषयवस्तु में मौलिकता होनी चाहिए। शोध का एक उद्देश्य साक्ष्यों के साथ प्रस्तुति करते हुए नवीन सिद्धांतों के तथ्य आधारित स्थापित करना है। सरकार शोध, अनुसंधान एवं नवाचार को प्रोत्साहित करने के लिए निरंतर प्रयास कर रही है। यह न सिर्फ हमारी नौतिक जिम्मेदारी है बल्कि कर्तव्य भी है कि हम सब मिलकर देश में शोध अनुकूल वातावरण निर्मित करने में अपना संपूर्ण योगदान दें। हमें शोध विषय का निर्धारण करते हुए स्थानीय आवश्यकताओं एवं जन सरोकारों का ध्यान रखना चाहिए।

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कार्यशाला में कुलपति महोदय ने शोध प्रविधि के मुख्य बिन्दुओं की महत्ता पर प्रकाश डाला गया साथ ही शोध में विषय-वस्तु के चुनाव की बात रखते हुए शोधार्थी के रूचि एवं कार्यप्रणाली को मुख्य रूप से शोधार्थियों की व्यक्तिगत क्षमता एवं रूचि के क्षेत्रों के विषय में बताया। प्रयोगशालाओं में किये जा रहे शोध एवं अनुसंधान को आज आम लोगों तक पहुंचाने की आवश्यकता है।

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विषय विशेषज्ञ प्रो. अनुपमा सक्सेना, विभागाध्यक्ष राजनीति शास्त्र विभाग, गुरु घासीदास विश्वविद्यालय ने मुख्य रूप से सामाजिक विज्ञान शोध की महत्ता के साथ सामाजिक विज्ञान में वैज्ञानिक प्रविधि का कैसे उपयोग कर महत्वपूर्ण आकड़ें एकत्र किये जा सकते इस बात पर प्रकाश डालते हुए गुणात्मक शोध की महत्ता को अत्यंत प्रभावकारी ढंग से अपने बात को शोधार्थियों के समक्ष प्रस्तुत किया।
उद्घाटन कार्यक्रम में धन्यवाद ज्ञापन सह-समन्वयक डॉ. संबित पाढ़ी सहायक प्राध्यापक शिक्षा विभाग द्वारा किया गया। इस ऑनलाइन कार्यशाला में चैदह राज्यों के सत्तर प्रतिभागी हिस्सा ले रहे हैं।

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दिनांक 14.12.2021 को रिसोर्सपर्सन प्रो. कौशल किशोर, सेंट्रल यूनिवर्सिटी ऑफ साउथ बिहार एवं प्रो. बसीर हसन, पंडित रविशंकर शुक्ल यूनिवर्सिटी, रायपुर रहेंगे। गूगल मीट के माध्यम से दिनांक 13 से 24 दिसंबर, 2021 (दस दिवसीय) आयोजित होने वाली कार्यशाला में तीस सत्र होंगे।