Space NASA astronauts will go to the moon : वॉशिंगटन डी॰ सी॰ – वैज्ञानिक मंगल के बाद अब चंद्रमा पर जाने के लिए पुनः तैयार है। नासा और इसरो इन दिनों अपने यानों पर ज्यादा फोकस कर रहे है। वहीं नासा अपनी उपलब्धियों के कारण कार्यों में अनुभवी है। अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा ने चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव के समीप ऐसे 13 स्थानों की पहचान की है जहां लैंडिंग की जा सकती है। नासा 2024 में आर्टेमिस प्रोग्राम के तहत चंद्रमा पर अंतरिक्ष यात्रियों को भेजने की तैयारी कर रही है। चुने गए स्थानों में से हर एक में आर्टेमिस-3 के लिए कई संभावित लैंडिंग स्थल हैं। यह चंद्रमा की सतह पर क्रू को उतारने वाला पहला आर्टेमिस अभियान होगा। पहली बार महिला भी चंद्रमा पर कदम रखेगी। >>*IBC24 News Channel के WHATSAPP ग्रुप से जुड़ने के लिए यहां CLICK करें*<<
.@NASA has identified 13 candidate landing regions near the lunar South Pole for #Artemis III.
To determine accessibility, the team considered the capabilities of @NASA_SLS, @NASA_Orion, and the SpaceX-provided Starship human landing system.
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— NASA Marshall (@NASA_Marshall) August 19, 2022
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Space NASA astronauts will go to the moon : आर्टेमिस अभियान विकास विभाग के डिप्टी एसोसिएट एडमिनिस्ट्रेटर मार्क किरासिच ने कहा, ‘इन स्थानों के चयन का अर्थ यह है कि अपोलो के बाद पहली बार चंद्रमा पर मनुष्यों को भेजने के लिए हम लंबी छलांग लगाने के करीब हैं। यह पहले के अभियानों के विपरीत होगा। अंतरिक्ष यात्री उन अंधेरे क्षेत्रों में प्रवेश करेंगे जहां इससे पहले कभी खोज नहीं की जा सकी। ‘पहचाने गए स्थान चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव के छह डिग्री अक्षांश के भीतर स्थित हैं। सामूहिक रूप से इनमें विविध भूगर्भ विशेषताएं हैं। आर्टेमिस चंद्र विज्ञान के सार्थ नोबल ने कहा, ‘प्रस्तावित स्थलों में से कई चंद्रमा के सबसे प्राचीन हिस्सों में स्थित हैं और स्थायी रूप से अंधकार वाले क्षेत्रों के साथ सटे हैं। यही विशेषता चंद्रमा के इतिहास के बारे में जानने का अवसर मुहैया कराती है। बता दें नासा का यह कार्यक्रम तीन हिस्सों में बंटा है। जिसके तीसरे हिस्से में साल 2024 में आर्टेमिस III चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर अंतरिक्ष यात्रियों को उतारेगा। इस मिशन के अंतर्गत पृथ्वी की पहली महिला को चांद पर उतारा जाएगा। इससे पहले साल 1969 से 1972 के बीच नासा ने कई अपोलो मिशन चांद पर भेजे थे।
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