खुफिया एजेंसियों ने श्रीलंका में एक बार फिर हिंसक विरोध प्रदर्शन की चेतावनी दी थी: विक्रमसिंघे

खुफिया एजेंसियों ने श्रीलंका में एक बार फिर हिंसक विरोध प्रदर्शन की चेतावनी दी थी: विक्रमसिंघे

खुफिया एजेंसियों ने श्रीलंका में एक बार फिर हिंसक विरोध प्रदर्शन की चेतावनी दी थी: विक्रमसिंघे
Modified Date: August 8, 2023 / 10:09 pm IST
Published Date: August 8, 2023 10:09 pm IST

कोलंबो, आठ अगस्त (भाषा) श्रीलंका के राष्ट्रपति रानिल विक्रमसिंघे ने मंगलवार को कैबिनेट को उन खुफिया रिपोर्टों के बारे में जानकारी दी जिनमें कुछ समूहों द्वारा पिछले साल 9 मई के जैसी ही सार्वजनिक अशांति पैदा करने के प्रयासों को लेकर चेतावनी दी गई थी।

कैबिनेट के प्रवक्ता और मंत्री बंडुला गणवर्दन ने कहा कि विपक्षी समूहों ने सूखे के कारण खेती के लिए पैदा हुए जल संकट का इस्तेमाल देश में समस्याएं खड़ी करने के लिए किया।

उदावलावे के दक्षिण-पश्चिमी क्षेत्र के किसान समनालावेवा जलाशय से खेती के लिए पानी की मांग को लेकर कई हफ्तों से विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। यह जलविद्युत उत्पादन के लिए एक समर्पित जलाशय है।

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अधिकारी जलाशय से पानी छोड़ने के इच्छुक नहीं हैं और उनका कहना है कि इससे दैनिक बिजली कटौती हो सकती है।

गणवर्दन ने कहा, ‘कृषि मंत्री महिंदा अमरवीरा के घर को घेरने की कोशिश की गई, जबकि ऊर्जा मंत्री कंचना विजेसेकरा के घर को विशेष सुरक्षा प्रदान की गई।’

गणवर्दन ने कहा कि खुफिया रिपोर्टों से पता चलता है कि कम से कम दो मीडिया संस्थानों ने सूखे के कारण पैदा हुए जल संकट का उपयोग करके सड़क पर हिंसा भड़काने के प्रयास किए।

मंत्री ने कहा, ‘उन्होंने उत्तेजित किसानों के साथ नौ मई की तरह सड़क पर विरोध प्रदर्शन आयोजित करने की योजना बनाई थी। कानून प्रवर्तन एजेंसियों की ओर से जवाबी कार्रवाई की गई और फिर राजनीतिक उद्देश्यों को पूरा करने के लिए शवों का इस्तेमाल किया गया।’

पिछले साल 9 मई को तत्कालीन प्रधानमंत्री महिंदा राजपक्षे को इस्तीफा देने के लिए मजबूर होना पड़ा था। आर्थिक संकट से निपटने में तत्कालीन सरकार की अक्षमता को लेकर आंदोलन कर रहे शांतिपूर्ण प्रदर्शनकारियों पर सरकार समर्थकों के हमला करने के बाद पूरे देश में हिंसा भड़क गई थी।

कृषि कार्यों के लिए समानलावेवा जलविद्युत जलाशय का पानी छोड़ने के कैबिनेट के फैसले के साथ मंगलवार सुबह किसान आंदोलन समाप्त हो गया।

ऊर्जा मंत्री ने मंगलवार को संसद को सूचित किया कि निर्बाध बिजली आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए राज्य बिजली इकाई पर उच्च लागत पर आपातकालीन बिजली आपूर्ति करने के लिए जोर डाला जाएगा।

भाषा जोहेब नरेश

नरेश


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