संसद में घुसकर लहरा रहे झंडा, अब इस देश में दिखा उग्र प्रदर्शन, वीडियो हो रहा वायरल

Demonstration in Parliament: अभी तक तो आपने सिर्फ श्रीलंका के हालात देखए थे, लेकिन अब कुछ ऐसे ही हालात इराक में भी बन चुके है।

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  • Publish Date - July 28, 2022 / 10:01 AM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:23 PM IST

इराक।Demonstration in Parliament: श्रीलंका एक तरफ आर्थिक संकट तो दूसरी तरफ लोगों के भोजन की संकट ने मुसीबत खड़ी कर दी है। जिसकी वजह से श्रीलंका सरकार को जनता के विरोध सामना करना पड़ रहा है। श्रीलंका के इतिहास की बात करे तो ये उसका सबसे बुरा समय रहा है। अभी तक तो आपने सिर्फ श्रीलंका के हालात देखए थे, लेकिन अब कुछ ऐसे ही हालात इराक में भी बन चुके है। इराक की जनता भी ईरान समर्थिक राजनीतिक पार्टियों की ओर से नामित प्रधानमंत्री चुने जाने के बाद प्रदर्शन पर उतर आई हैं। बताया जा रहा है कि बगदाद स्थित संसद परिसर के अंदर भी प्रदर्शनकारी घुस गए और हंगामा खड़ा कर दिए हैं।>>*IBC24 News Channel के WHATSAPP  ग्रुप से जुड़ने के लिए  यहां CLICK करें*<<

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श्रीलंका की जनता तो इतनी उग्र प्रदर्शन पर उतर आई कि राष्ट्रपति तक को अपनी जान बचाकर भागना पड़ा और जनता ने राष्ट्रपति आवास पर ही कब्जा जमा लिया। यहां तक की श्रीलंकाई जनता ने पीएम आवास को भी आग के हवाले ही कर दिया था। प्रदर्शकारियों का कुछ ऐसे ही एक वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है, जैसे कुछ दिन पहले श्रीलंका की आक्रोशित जनता का राष्ट्रपति भवन के अंदर का आया था। वीडियो में साफ दिख रहा है कि इराक की संसद में घुसकर हजारों प्रदर्शनकारी इराकी झंडा लहरा रहे हैं। डीएन हिंदी की ओर से किए गए एक वीडियो ट्वीट में साफ देखा जा सकता है कि कुछ प्रदर्शनकारी तो मेज व कुर्सियों पर चढ़े हुए हैं। हालांकि, इस दौरान मौके पर वहां कोई भी इराकी सांसद मौजूद नहीं है।

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आम चुनाव होने के बाद हो रहा प्रदर्शन

बीते साल 2021 के अक्टूबर महीने में इराक में आम चुनाव हुआ था। उसी के बाद से इराक में प्रदर्शन हो रहा है। धीरे-धीरे प्रदर्शन व असंतोष बढ़ता गया और रूद्र रूप ले लिया। अब मामला देश की राजधानी से होते हुए संसद तक पहुंच गया है, जिसे रोक पाना काफी मुश्किल दिखने लगा है। इरान समर्थित राजनीतिक पार्टियों ने अपने गठबंधन कोऑर्डिनेशन फ्रेमवर्क ब्लॉक की तरफ से मोहम्मद अल-सुडानी को प्रधानमंत्री पद के लिए नामित किया। बताया जाता है कि ये पार्टियां शिया मुसलमानों की हैं। इसी वजह से जमकर विद्रोह हो रहा है और प्रदर्शनकारियों ने बगदाद के ग्रीन जोन में ‘सुडानी, बाहर जाओ’ के नारे भी लगाए है।

Demonstration in Parliament: बता दे कि बगदाद के ग्रीन जोन में कड़े सुरक्षा व्यवस्था का इंतजाम के बावजूद भी प्रदर्शनकारी संसद में घुस गए। पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को रोकने के लिए वाटर कैनन और सीमेंट की दीवारों का भी इस्तेमाल किया लेकिन सारी चीजों को दरकिनार कर प्रदर्शनकारी आगे बढ़ते गए और संसद में घुस गए। इरान समर्थित पार्टियों की तरफ से चुने गए नामित पीएम के खिलाफ प्रदर्शनकारी एक सुर में आवाज उठा रहे हैं।  हालांकि इराक के कार्यकारी पीएम मुस्तफा अल-कदीमी ने लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की है और ग्रीन जोन में प्रदर्शनकारियों से प्रदर्शन खत्म करने के लिए भी कहा है। प्रदर्शनकारियों में शामिल ज्यादातर लोग शियाओं के धर्मगुरु मुक्तदा अल-सदर के समर्थक हैं। बीते साल के अक्टूबर माह में सबसे ज्यादा सीटें जीतने के बावजूद मुक्तदा अल-सदर ने राजनीतिक सक्रियता से बाहर रहने का ऐलान किया था। इससे पहले, साल 2016 में भी अल-सदर के समर्थकों ने बगदाद के ग्रीन जोन और संसद पर धावा बोल दिया था।

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