सरकार का लक्ष्य देश को नवीकरणीय ऊर्जा उत्पादन एवं निर्यात का वैश्विक केंद्र बनाना: जोशी

सरकार का लक्ष्य देश को नवीकरणीय ऊर्जा उत्पादन एवं निर्यात का वैश्विक केंद्र बनाना: जोशी

सरकार का लक्ष्य देश को नवीकरणीय ऊर्जा उत्पादन एवं निर्यात का वैश्विक केंद्र बनाना: जोशी
Modified Date: September 25, 2025 / 05:16 pm IST
Published Date: September 25, 2025 5:16 pm IST

नयी दिल्ली, 25 सितंबर (भाषा) केंद्रीय मंत्री प्रल्हाद जोशी ने बृहस्पतिवार को कहा कि सरकार का लक्ष्य देश को हरित ऊर्जा के उत्पादन, उपयोग और निर्यात का वैश्विक केंद्र बनाना है।

नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्री ने राष्ट्रीय राजधानी में एसएंडपी ग्लोबल कमोडिटी इनसाइट्स द्वारा आयोजित विश्व ‘हाइड्रोजन इंडिया सम्मेलन’ को ऑनलाइन संबोधित किया।

जोशी ने कहा कि भारत ने गैर-जीवाश्म संसाधनों से 50 प्रतिशत स्थापित बिजली क्षमता प्राप्त करने का लक्ष्य निर्धारित समय से पांच वर्ष पहले ही हासिल कर लिया है।

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उन्होंने कहा, ‘‘ नवीकरणीय ऊर्जा में इस अभूतपूर्व वृद्धि ने हमारे अगले लक्ष्य के लिए मंच तैयार कर दिया है जिससे भारत हरित ऊर्जा के उत्पादन, उपयोग एवं निर्यात का वैश्विक केंद्र बन जाएगा।’’

मंत्री ने कहा कि भारत की कुल गैर-जीवाश्म ईंधन स्थापित क्षमता लगभग 250 गीगावाट है।

हरित हाइड्रोजन के बारे में जोशी ने कहा कि सरकार का हरित हाइड्रोजन कार्यक्रम अविश्वसनीय गति से विचार (विजन) से क्रियान्वयन की ओर बढ़ रहा है। इस दृष्टिकोण को समर्थन देने के लिए एक स्थिर, भरोसेमंद और लाभदायक निवेश माहौल तैयार किया जा रहा है।

सरकार ने 2023 में वित्त वर्ष 2029-30 तक 50 लाख टन उत्पादन के लिए 19,744 करोड़ रुपये के शुरुआती व्यय के साथ राष्ट्रीय हरित हाइड्रोजन मिशन (एनजीएचएम) शुरू किया था।

एसएंडपी ग्लोबल कमोडिटी इनसाइट्स के वरिष्ठ विश्लेषक (क्वांटिटेटिव एनालिसिस) अभय सिंह ने कहा, ‘‘ पुनरुत्थान परिदृश्य में वैश्विक स्तर पर हाइड्रोजन की मांग 2060 तक वर्तमान स्तर से 3.5 गुना तक बढ़ सकती है। यह मौजूदा 1.7 प्रतिशत की ऊर्जा मांग से संभावित रूप से सात प्रतिशत से अधिक होगी।’’

उन्होंने कहा कि भारत में भी ऊर्जा मांग में हाइड्रोजन की हिस्सेदारी मौजूदा 1.8 प्रतिशत से बढ़कर तीन प्रतिशत से अधिक होने का अनुमान है। इसमें लगभग 80 प्रतिशत उत्पादन संभावित रूप से हरित हाइड्रोजन से होगा…।’’

भाषा निहारिका रमण

रमण


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