जीएसटी कटौती से उद्योग के सभी वर्गों को फायदा, निर्यात अधिक रहेगाः गोयल
जीएसटी कटौती से उद्योग के सभी वर्गों को फायदा, निर्यात अधिक रहेगाः गोयल
नयी दिल्ली, चार सितंबर (भाषा) वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने निर्यात में विविधता लाने के लिए जारी प्रयासों का जिक्र करते हुए बृहस्पतिवार को कहा कि चालू वित्त वर्ष में भारत का निर्यात 2024-25 की तुलना में अधिक रहेगा।
इसके साथ ही गोयल ने कहा कि उद्योग जगत ने माल एवं सेवा कर (जीएसटी) की दरों में की गई कटौती का लाभ उपभोक्ताओं तक पहुंचाने का आश्वासन दिया है।
गोयल ने यहां संवाददाताओं के साथ बातचीत में कहा कि बजट में दी गई आयकर रियायतों और बुधवार को घोषित जीएसटी सुधारों के चलते यह साल उपभोक्ताओं के लिए बेहद खास रहा है।
उन्होंने कहा, “जीएसटी सुधारों का अर्थव्यवस्था पर गुणक प्रभाव पड़ेगा और महंगाई को नीचे रखने में मदद मिलेगी।”
उन्होंने कहा कि जीएसटी दरों में कटौती से उद्योग को भी लाभ होगा क्योंकि कीमतें घटने पर मांग बढ़ती है, जिससे विनिर्माण गतिविधियां तेज होती हैं।
उन्होंने कहा कि अमेरिका की तरफ से भारतीय उत्पादों पर लगाए गए 50 प्रतिशत शुल्क जैसी चुनौतियों के बावजूद भारत का निर्यात अधिक रहेगा।
वित्त वर्ष 2024-25 में भारत का वस्तुओं एवं सेवाओं का निर्यात 820 अरब डॉलर तक पहुंच गया था, जो उसके एक साल पहले के मुकाबले छह प्रतिशत अधिक है।
गोयल ने जीएसटी दर कटौती का निर्यात क्षेत्र पर प्रभाव बताते हुए कहा कि इससे उद्योग के सभी वर्गों को लाभ होगा।
उन्होंने कहा, “जिन निर्यातकों पर किसी तीसरे देश की कार्रवाई से असर पड़ा है, उन्हें अब बड़े भारतीय बाजार को साधने और बिना बाधा अपना कारोबार जारी रखने का अवसर मिलेगा। मुझे लगता है कि यह सबके लिए फायदे की स्थिति है।”
गोयल ने कहा कि सरकार निर्यात में विविधता लाने के लिए नए बाजार और उत्पादों पर ध्यान दे रही है।
उन्होंने बताया कि भारत झींगा एवं समुद्री खाद्य निर्यात के लिए संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) के बाजार का अध्ययन कर रहा है, जबकि सिंगापुर ने अंडे और चिकन खरीदने का आश्वासन दिया है और भारतीय मछली में भी दिलचस्पी दिखाई है।
इस बीच, वाणिज्य मंत्रालय ने कहा कि उद्योग जगत ने जीएसटी सुधारों का स्वागत करते हुए कहा है कि निर्यातकों को कर रिफंड में तेजी, उल्टे शुल्क ढांचे में राहत और प्रमुख क्षेत्रों में दरों के सरलीकरण जैसे कदम तरलता बढ़ाएंगे, आपूर्ति श्रृंखलाओं को मजबूत करेंगे और प्रतिस्पर्धा क्षमता बढ़ाएंगे।
वाणिज्य सचिव सुनील बर्थवाल ने कहा कि जीएसटी दरों का सरलीकरण सूक्ष्म, लघु एवं मझोली इकाइयों (एमएसएमई) को सशक्त बनाने और भारत की विनिर्माण क्षमता को मजबूती देने की दिशा में निर्णायक कदम है।
भाषा प्रेम प्रेम अजय
अजय

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