कृषि और मत्स्य निर्यात को 20 लाख करोड़ रुपये तक बढ़ाने की क्षमता: गोयल

कृषि और मत्स्य निर्यात को 20 लाख करोड़ रुपये तक बढ़ाने की क्षमता: गोयल

कृषि और मत्स्य निर्यात को 20 लाख करोड़ रुपये तक बढ़ाने की क्षमता: गोयल
Modified Date: July 9, 2025 / 08:02 pm IST
Published Date: July 9, 2025 8:02 pm IST

नयी दिल्ली, नौ जुलाई (भाषा) वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने बुधवार को कहा कि खाद्य प्रसंस्करण, बेहतर गुणवत्ता वाली पैकेजिंग और ब्रांडिंग से देश के कृषि और मत्स्य निर्यात को 20 लाख करोड़ रुपये तक बढ़ाने में मदद मिल सकती है।

मौजूदा समय में, भारत का कृषि और मत्स्य निर्यात लगभग 4-4.5 लाख करोड़ रुपये का है।

उन्होंने कहा कि सरकारी पहल की मदद से, भारत अब विभिन्न देशों को अनानास, जामुन और लीची जैसे फलों और सब्जियों का निर्यात कर रहा है।

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उन्होंने यहां एक कृषि समारोह में कहा, ‘‘हम खाद्य प्रसंस्करण, बेहतर गुणवत्ता वाली पैकेजिंग और ब्रांडिंग पर ध्यान केंद्रित करके अपने निर्यात को चार लाख करोड़ रुपये से बढ़ाकर 20 लाख करोड़ रुपये कर सकते हैं।’’

मंत्री ने किसानों, खाद्य प्रसंस्करणकर्ताओं और निर्यातकों के बीच साझेदारी बढ़ाने का सुझाव दिया।

गोयल ने एक उदाहरण पेश करते हुए कहा कि इंडिगो की उड़ान में लोग चावल-दाल, पोहा और उपमा सहित खाने के पैकेट 250 से 400 रुपये में खरीदते हैं, जिनकी कीमत अन्यथा केवल 40 रुपये होती।

उन्होंने कहा कि इस उदाहरण के माध्यम से, ‘‘मैं आपको (खाद्य प्रसंस्करण की) क्षमता के बारे में बताना चाहता हूँ।’’ इसी तरह, विदेशों में रहने वाले चार करोड़ भारतीय मूल के लोगों की ज़रूरतों को पूरा करने की भी अपार संभावनाएं हैं।

उन्होंने कहा कि नरेन्द्र मोदी सरकार द्वारा मोटे अनाज को बढ़ावा देने के लिए की गई पहल के कारण, दुनियाभर के लोग इन पौष्टिक खाद्यान्नों की ओर रुख कर रहे हैं।

उन्होंने आगे कहा कि इस पहल के परिणामस्वरूप देश में मोटे अनाजों की कमी की स्थिति हो रही है।

इसके अलावा, मंत्री ने कहा कि लोगों को सरकारी सब्सिडी पर निर्भर नहीं रहना चाहिए।

भाषा राजेश राजेश अजय

अजय


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