Naxalite Top Leader Surrender || Image- IBC24 News File
Naxalite Top Leader Surrender: रायपुर: देशभर में इन दिनों नक्सल विरोधी अभियान पूरे तेजी से आगे बढ़ रहा है। बात करें छत्तीसगढ़ की तो सबसे अधिक नक्सलवाद प्रभावित इस राज्य में केंद्र सरकार एक निर्देश पर विशेष अभियान चलाया जा रहा है। बड़े पैमाने पर सुरक्षाबलों को जंगलों के भीतर भेजा जा रहा है।
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सरकार के इन प्रयासों का परिणाम भी देखने को मिल रहा है। गुरुवार को गरियाबंद में हुए एक मुठभेड़ में सुरक्षाबलों ने एक करोड़ के इनामी नक्सली मनोज बालकृष्ण को मार गिराने में कामयाबी हासिल की है। दुर्दांत नक्सली मनोज के साथ 9 और नक्सलियों को ढेर कर दिया गया है। राज्य के गृहमंत्री विजय शर्मा और केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने इस सफल ऑपरेशन के बाद सुरक्षाबलों को बधाई दी और मार्च 2026 तक देशभर से नक्सलवाद को ख़त्म करने की अपनी प्रतिबद्धता दोहराई।
मोस्ट वांटेड नक्सली मनोज लम्बे वक़्त से छत्तीसगढ़ के गरियाबंद में सक्रिय था। मैनपुर इलाके में में उसकी मौजूदगी के बाद सीआरपीएफ और डीआरजी जवानों के स्पेशल टीम को जंगलों के भीतर भेजा गया था। यहाँ पहुँचते ही माओवादियों ने सुरक्षाबलों पर फायरिंग खोल दिया। वही जवाबी कार्रवाई में पुलिस ने भी गोलीबारी की और वहां मौजूद टॉप नक्सली लीडर मनोज समेत 10 माओवादियों को मार गिराया।
Naxalite Top Leader Surrender: इसी बीच एक और बड़ी खबर निकलकर सामने आ रही है। बताया जा रहा है कि तेलंगाना में एक और मोस्ट वांटेड महिला नक्सली ने पुलिस के सामें आत्मसमर्पण किया है। सरेंडर करने वाली नक्सली का नाम सुजाथा है जबकि माओवादी पार्टी में उसे सुजाथक्का उर्फ पोथुला कल्पना उर्फ पद्मा उर्फ झांसी बाई के नाम से भी जाना जाता है। सुजाथा माओवादियों के सेन्ट्रल कमेटी की सदस्य बताई जा रही है जिस पर पुलिस ने एक करोड़ रुपये का इनाम घोषित कर रखा था। सुजाथा दशकों पहले पश्चिम बंगाल में मारे गये शीर्ष नक्सली किशन जी की पत्नी बताई जा रही है। ऐसे में सुजाथा के आत्मसमर्पण को पुलिस और सरकार के लिए बड़ी कामयाबी जबकि नक्सल संगठन के लिए झटके के तौर पर देखा जा रहा है। सुजाथा के आत्मसमर्पण के खबर की पुष्टि तेलंगाना पुलिस के साथ ही छत्तीसगढ़ राज्य के उप मुख्यमंत्री सह गृहमंत्री विजय शर्मा ने भी की है।
गृहमंत्री ने नक्सल मामलों पर चर्चा करते हुए बताया कि, अब तक मुठभेड़, गिरफ्तारी और आत्मसमर्पण से करीब 4 हजार नक्सली कम हो चुके है जबकि आने वाले 6 महीनों के भीतर इतने ही और नक्सली कम हो जायेंगे। उन्होंने फिर दोहराया कि बचे हुए नक्सली या तो सरेंडर कर दें या फिर गिरफ्तार होंगे। सुरक्षाबल लगातार उनपर प्रहार कर रहे है।