मानहानि मामला: रमानी को बरी किए जाने के खिलाफ अकबर की याचिका पर सितंबर में सुनवाई करेगी अदालत
मानहानि मामला: रमानी को बरी किए जाने के खिलाफ अकबर की याचिका पर सितंबर में सुनवाई करेगी अदालत
नयी दिल्ली, 22 अप्रैल (भाषा) दिल्ली उच्च न्यायालय ने मंगलवार को पूर्व केंद्रीय मंत्री एम. जे. अकबर की उस अपील की सुनवाई 19 सितंबर तक के लिए स्थगित कर दी, जिसमें पत्रकार प्रिया रमानी को आपराधिक मानहानि मामले में बरी किए जाने को चुनौती दी गई है।
रमानी के एक वकील ने मामले का प्रतिनिधत्व कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता की अनुपलब्धता का हवाला देते हुए सुनवाई स्थगित करने का अनुरोध किया, जिसके बाद न्यायमूर्ति नीना बंसल कृष्णा ने सुनवाई स्थगित कर दी।
अदालत ने कहा, “इसे 19 सितंबर को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध करें।”
अकबर ने निचली अदालत के 17 फरवरी, 2021 के उस आदेश को चुनौती दी थी, जिसमें रमानी को बरी करते हुए कहा गया था कि एक महिला को दशकों बाद भी अपनी पसंद के किसी भी मंच पर शिकायत रखने का अधिकार है।
उच्च न्यायालय ने 13 जनवरी, 2022 को निचली अदालत के फैसले के खिलाफ अकबर की अपील पर विचार करने पर सहमति जताई थी।
अकबर की अपील में तर्क दिया गया है कि निचली अदालत ने उनके आपराधिक मानहानि मामले पर फैसला अनुमानों और अटकलों के आधार पर किया था।
रमानी ने 2018 में ‘मी टू’ अभियान के दौरान अकबर के खिलाफ यौन उत्पीड़न के आरोप लगाए थे।
इसके बाद अकबर ने दशकों पुराने आरोपों को लेकर कथित रूप से उन्हें बदनाम करने के लिए 15 अक्टूबर, 2018 को रमानी के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई थी।
उन्होंने 17 अक्टूबर 2018 को विदेश राज्य मंत्री के पद से इस्तीफा दे दिया था।
भाषा जोहेब सुरेश
सुरेश

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