गुवाहाटी, 17 मई (भाषा) असम के मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा ने शनिवार को कांग्रेस नेता राहुल गांधी से आग्रह किया कि पाकिस्तान प्रायोजित आतंकवाद पर भारत का रुख स्पष्ट करने के लिए विदेश भेजे जाने वाले प्रतिनिधिमंडलों के लिए कांग्रेस द्वारा नामित चार सांसदों की सूची से राज्य के सांसद का नाम हटा दिया जाए।
पार्टी द्वारा नामित चार सांसदों में से एक लोकसभा में कांग्रेस के उपनेता गौरव गोगोई का नाम लिए बिना मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्हें “राष्ट्रीय सुरक्षा के हित में” सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल में शामिल नहीं किया जाना चाहिए।
शर्मा गोगोई पर उनकी ब्रिटिश पत्नी एलिजाबेथ कोलबर्न के माध्यम से उनके कथित पाकिस्तानी संबंधों को लेकर आरोप लगा रहे हैं और दावा किया है कि जोरहाट के सांसद अधिकारियों को सूचित किए बिना पड़ोसी देश में 15 दिनों तक रहे थे।
कांग्रेस नेता ने आरोपों को खारिज कर दिया था।
शर्मा ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर कहा, “सूची में नामित सांसदों में से एक (असम से) ने पाकिस्तान में अपने लंबे प्रवास से इनकार नहीं किया है – कथित तौर पर दो सप्ताह तक – और विश्वसनीय दस्तावेजों से पता चलता है कि उनकी पत्नी भारत में काम करते हुए पाकिस्तान स्थित एक एनजीओ से वेतन ले रही थीं।”
उन्होंने यह भी कहा, “राष्ट्रीय सुरक्षा के हित में और दलगत राजनीति से परे, मैं विपक्ष के नेता राहुल गांधी से आग्रह करता हूं कि वे इस व्यक्ति को ऐसे संवेदनशील और रणनीतिक कार्य में शामिल न करें।”
शर्मा की टिप्पणी कांग्रेस नेता जयराम रमेश की सोशल मीडिया पर पोस्ट की प्रतिक्रिया थी।
पार्टी महासचिव जयराम रमेश ने कहा कि कांग्रेस की तरफ से पाक प्रायोजित आतंकवाद पर भारत का रुख रखने के लिये चार नेताओं पूर्व केंद्रीय मंत्री आनंद शर्मा, लोकसभा में पार्टी के उपनेता गौरव गोगोई, राज्य सभा सदस्य सैयद नासिर हुसैन और लोकसभा सदस्य अमरिंदर सिंह राजा वडिंग को नामित किया गया है।
कांग्रेस ने शनिवार को कहा कि सरकार ने ऑपरेशन सिंदूर के बाद कूटनीतिक संपर्क के लिए चार सांसदों के नाम सौंपने को कहा था।
भाषा
प्रशांत माधव
माधव
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