कर्नाटक के राज्यपाल केंद्र, भाजपा-जद (एस) की ‘कठपुतली’ की तरह काम कर रहे हैं : सिद्धरमैया

कर्नाटक के राज्यपाल केंद्र, भाजपा-जद (एस) की ‘कठपुतली’ की तरह काम कर रहे हैं : सिद्धरमैया

कर्नाटक के राज्यपाल केंद्र, भाजपा-जद (एस) की ‘कठपुतली’ की तरह काम कर रहे हैं : सिद्धरमैया
Modified Date: August 2, 2024 / 04:54 pm IST
Published Date: August 2, 2024 4:54 pm IST

मैसूरु, दो अगस्त (भाषा) कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धरमैया ने शुक्रवार को उन्हें कारण बताओ नोटिस जारी करने के लिए राज्यपाल थावरचंद गहलोत पर हमला बोला और उन पर केंद्र सरकार और भाजपा-जद(एस) की ‘‘कठपुतली’’ के रूप में कार्य करने का आरोप लगाया।

सिद्धरमैया ने उन्हें नोटिस जारी करने को ‘‘अवैध और संविधान के विरुद्ध’’ बताया, जिसमें उनसे पूछा गया है कि मैसूरु शहरी विकास प्राधिकरण (एमयूडीए) द्वारा साइट आवंटन में कथित अनियमितताओं के मामले में उनके खिलाफ अभियोजन की मंजूरी क्यों न दी जाए।

अधिवक्ता-कार्यकर्ता टीजे अब्राहम द्वारा दायर याचिका के आधार पर राज्यपाल ने 26 जुलाई को नोटिस जारी कर मुख्यमंत्री को निर्देश दिया कि वे अपने (सिद्धरमैया) खिलाफ लगे आरोपों पर सात दिनों के भीतर जवाब दें कि उनके खिलाफ मुकदमे की अनुमति क्यों न दी जाए।

 ⁠

कर्नाटक सरकार ने बृहस्पतिवार को राज्यपाल को कारण बताओ नोटिस वापस लेने की सलाह दी थी।

मुख्यमंत्री ने किसी भी तरह की गड़बड़ी से इनकार किया।

उन्होंने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘मेरी इसमें (घोटाले में) कोई भूमिका नहीं है। मेरी भूमिका कहां है?’’

सिद्धरमैया ने केंद्र सरकार पर ‘‘राजभवन का दुरुपयोग’’ करने और लोकतांत्रिक रूप से चुनी गई सरकार को अस्थिर करने का आरोप लगाया।

उन्होंने आरोप लगाया, ‘‘राज्यपाल पूरी तरह से केंद्र सरकार, भाजपा-जनता दल (सेक्युलर) की कठपुतली के रूप में काम कर रहे हैं।’’

मुख्यमंत्री ने कहा कि वह बृहस्पतिवार की कैबिनेट बैठक में शामिल नहीं हुए क्योंकि वह ‘‘गलत मिसाल’’ कायम नहीं करना चाहते थे। उन्होंने बैठक की अध्यक्षता के लिए उपमुख्यमंत्री डी.के. शिवकुमार को नामित किया था।

मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि राज्यपाल को अब्राहम के पिछले रिकॉर्ड पर ध्यान देना चाहिए था।

सिद्धरमैया ने कहा, ‘‘अगर आप अब्राहम के पिछले रिकॉर्ड को देखें, तो वह एक ‘ब्लैकमेलर’ है। उसकी शिकायत पर कार्रवाई करना गैरकानूनी है। वह इस तरह से कई लोगों के खिलाफ शिकायतें करता रहा है। मैंने ऐसा कोई अपराध नहीं किया है।’’

उन्होंने कहा कि अब्राहम ने 26 जुलाई को शिकायत दर्ज कराई थी और उसी दिन राज्यपाल ने उन्हें कारण बताओ नोटिस जारी किया था।

मुख्यमंत्री ने कहा कि भाजपा के पूर्व मंत्रियों – शशिकला जोले, मुरुगेश निरानी और जी. जनार्दन रेड्डी के खिलाफ अभियोजन की मंजूरी मांगने वाली इसी तरह की याचिकाएं थीं, लेकिन वे वर्षों से लंबित हैं और कोई कार्रवाई नहीं की गई।

आरोप है कि मैसूरु के एक पॉश इलाके में मुख्यमंत्री की पत्नी पार्वती को वैकल्पिक भूखंड आवंटित किए गए जिनकी कीमत एमयूडीए द्वारा ‘अधिग्रहीत’ उनकी जमीन के मूल्य की तुलना में अधिक है। एमयूडीए ने पार्वती की 3.16 एकड़ जमीन के बदले में उन्हें 50:50 अनुपात योजना के तहत भूखंड आवंटित किए थे।

भाषा शफीक नरेश

नरेश


लेखक के बारे में