Khalistan Issues Update : भारत ने कनाडा को दिया मुंहतोड़ जवाब..! खालिस्तानी मुद्दे पर हुई बोलती बंद, PM मोदी ने भारतीय समुदाय के लिए कर दी एडवाइजरी जारी..
Khalistan Issues Update: केंद्र की मोदी सरकार ने कनाडा में रह रहे भारतीय नागरिकों खासकर छात्रों के लिए एक एडवाइजरी जारी की है।
Khalistan Issues Update
नई दिल्ली। भारत में हुए जी20 के बाद भारत ने कनाडा पर खालिस्तान को लेकर मुद्दा उठाया था। जिसमें पीएम मोदी ने कहा था कि कनाडा में खालिस्तानी अलगाववाद को बढ़ावा दिया जा रहा है। वे भारतीय राजनयिकों के खिलाफ हिंसा भड़का रहे हैं, राजनयिक परिसरों को नुकसान पहुंचा रहे हैं और कनाडा में भारतीय समुदाय और उनके पूजा स्थलों को नुकसान पहुंचा रहे हैं। हालांकि इसका जवाब देते हुए कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने कहा कि वह अपने देश में अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का सम्मान करते हैं। जस्टिन ट्रूडो ऐसा करके अपने पिता वाली गलती दोहरा रहे हैं, जब वह सीनियर ट्रूडो ने पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की बात नहीं मानी थी। जिसका नतीजा यह हुआ कि 329 लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी।
कनाडा और भारत के बीच खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह हत्याकांड को लेकर तनाव चरम पर है। कनाडा ने सोमवार को खालिस्तानी आतंकी की हत्या में भारत की संलिप्तता का आरोप लगाते हुए भारत के एक शीर्ष राजनयिक को निष्कासित कर दिया जिसके बाद भारत ने भी कनाडा के एक शीर्ष राजनयिक को पांच दिनों के भीतर देश से निकलने का आदेश जारी कर दिया है।
भारत ने लिया बड़ा एक्शन
अब भारत ने भी एक बड़ा एक्शन लिया है। केंद्र की मोदी सरकार ने कनाडा में रह रहे भारतीय नागरिकों खासकर छात्रों के लिए एक एडवाइजरी जारी की है। भारत सरकार की ओर से जारी एडवाइजरी में कहा गया है कि कनाडा में बढ़ती भारत विरोधी गतिविधियों और राजनीतिक रूप से समर्थित घृणित अपराधों और हिंसा को देखते हुए कनाडा में मौजूद या जाने का विचार कर रहे भारतीय नागरिकों के लिए अत्यधिक सावधानी बरतने का आग्रह किया जाता है। बता दें कि पिछले 48 घंटे के भीतर भारत ने दो बार कनाडा की हरकतों का मुंहतोड़ जवाब दिया है।
एडवाइजरी में आगे कहा गया है, “हाल की धमकियों में भारतीय राजनयिकों और भारतीय समुदाय को टारगेट किया गया है। इन धमकियों में उन लोगों को खासतौर से टारगेट किया गया है जो भारत विरोधी एजेंडे की आलोचना करते हैं। इसलिए भारतीय नागरिकों को सलाह दी जाती है कि वे कनाडा के उन क्षेत्रों और संभावित स्थानों की यात्रा करने से बचें जहां ऐसी घटनाएं हुई हैं।

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