बेंगलुरु, 31 मार्च (भाषा) कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री डी के शिवकुमार ने रविवार को कहा कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह बेंगलुरु ग्रामीण लोकसभा क्षेत्र के चन्नापटना में रोड शो कर रहे हैं, क्योंकि भाजपा और जद (एस) के कार्यकर्ताओं के बीच एकजुटता की कमी है।
शिवकुमार के भाई और मौजूदा सांसद डी के सुरेश बेंगलुरु ग्रामीण से कांग्रेस के उम्मीदवार हैं, जबकि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने प्रख्यात हृदय रोग विशेषज्ञ डॉ सी एन मंजूनाथ को मैदान में उतारने की घोषणा की है। मंजूनाथ जनता दल (सेक्युलर) के संरक्षक एवं पूर्व प्रधानमंत्री एच डी देवेगौड़ा के दामाद हैं।
अमित शाह दो अप्रैल को कर्नाटक में अपने प्रचार अभियान की शुरुआत करेंगे। उनका बेंगलुरु ग्रामीण लोकसभा क्षेत्र के चन्नापटना में रोड शो करने का कार्यक्रम है।
शिवकुमार ने कहा, ‘‘उन्होंने चन्नापटना को इसलिए चुना, क्योंकि वहां भाजपा और जद(एस) के बीच एकजुटता नहीं हैं, उनके कार्यकर्ता वहां एकजुट नहीं हैं। भाजपा और जद (एस) के कार्यकर्ता, जो आए दिन एक-दूसरे से लड़ते रहे हैं, यहां तक कि स्थानीय निकाय चुनावों के दौरान भी, एक साथ काम नहीं कर रहे हैं।’’
उन्होंने यहां संवाददाताओं को संबोधित करते हुए कहा कि बेंगलुरु ग्रामीण क्षेत्र में जद (एस) कार्यकर्ता भी भ्रम की स्थिति में हैं और वहां के लोग डी के सुरेश और शिवकुमार के बारे में अच्छी तरह जानते हैं।
कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री ने अपने भाई की जीत का भरोसा जताते हुए कहा, ‘‘ वे (भाजपा-जद(एस)) अमित शाह को वहां लाकर अपनी ताकत दिखाना चाहते हैं कि वे एकजुट हैं। उन्होंने अब तक दोनों दलों की संयुक्त कार्यकर्ता बैठक क्यों नहीं की? सिर्फ इसलिए कि नेता एक साथ आ गए हैं, क्या उनके कार्यकर्ता एक साथ आ जाएंगे? ’’
डी के सुरेश एकमात्र कांग्रेस उम्मीदवार थे, जिन्होंने 2019 में लोकसभा चुनाव जीत हासिल की थी। जद (एस) ने एक, जबकि भाजपा ने 25 सीट पर जीत हासिल की थी। राज्य में लोकसभा की 28 सीट थी। साल 2019 का लोकसभा चुनाव कांग्रेस ने जद (एस) के साथ गठबंधन में लड़ा था।
शिवकुमार ने जद(एस) के नेता एच डी कुमारस्वामी पर निशाना साधते हुए कहा, ‘‘ कुमारस्वामी अब सभी भाजपा नेताओं के दरवाजे पर जा रहे हैं, उनमें काफी बदलाव आ गया है। जिन लोगों ने उनकी सरकार (कांग्रेस-जद(एस) गठबंधन सरकार) को उखाड़ फेंका या जिन्होंने इसके पतन की नींव रखी – (भाजपा नेता) येदियुरप्पा, अशोक, अश्वथ नारायण – वह (कुमारस्वामी) अब उन्हें गले लगा रहे हैं। जनता को अब फैसला करना होगा।’’
भाषा रवि कांत दिलीप
दिलीप
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