जनादेश के साथ धोखेबाजी नहीं होनी चाहिए : उमर अब्दुल्ला

जनादेश के साथ धोखेबाजी नहीं होनी चाहिए : उमर अब्दुल्ला

जनादेश के साथ धोखेबाजी नहीं होनी चाहिए : उमर अब्दुल्ला
Modified Date: October 8, 2024 / 10:35 am IST
Published Date: October 8, 2024 10:35 am IST

श्रीनगर, आठ अक्टूबर (भाषा) नेशनल कॉन्फ्रेंस (नेकां) के उपाध्यक्ष उमर अब्दुल्ला ने मंगलवार को कहा कि जम्मू-कश्मीर में लोगों के जनादेश के साथ कोई धोखेबाजी नहीं होनी चाहिए और केंद्र तथा राजभवन को किसी भी तरह के ‘जुगाड़’ में शामिल नहीं होना चाहिए।

शुरुआती रुझानों में नेकां भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और अन्य प्रतिद्वंद्वी दलों से आगे है। अब्दुल्ला ने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘पारदर्शिता होनी चाहिए। जो भी हो, पारदर्शी तरीके से होना चाहिए। जनादेश के साथ कोई धोखेबाजी नहीं होनी चाहिए। अगर जनादेश भाजपा के खिलाफ है, तो भाजपा को कोई जुगाड़ या अन्य कोई चाल नहीं चलनी चाहिए।’’

अब्दुल्ला ने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘राजभवन और केंद्र को लोगों के फैसले को उसी तरह स्वीकार करना चाहिए, जिस तरह हमने संसदीय चुनावों में किया।’’

 ⁠

गांदरबल और बडगाम सीट से विधानसभा चुनाव लड़ रहे नेकां नेता ने उम्मीद जताई कि कांग्रेस के साथ उनकी पार्टी का गठबंधन चुनाव जीतेगा।

उन्होंने कहा, ‘‘हमें जीत की उम्मीद है, लेकिन बाकी सब ईश्वर के हाथ में है। हमें दोपहर तक पता चल जाएगा कि जम्मू-कश्मीर के लोगों ने क्या फैसला किया है?’’

उपराज्यपाल द्वारा पांच विधायकों का मनोनयन किए जाने के प्रावधान के बारे में पूछे जाने पर पूर्ववर्ती राज्य जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रशासन को निर्वाचित सरकार की सलाह का इंतजार करना चाहिए।

अब्दुल्ला ने कहा, ‘‘कुछ वकीलों ने अपनी राय दी है। हमारे वकील ने कहा है कि उपराज्यपाल को विधायकों के मनोनयन का कोई अधिकार नहीं है। विधानसभा गठन के बाद यह निर्वाचित सरकार का अधिकार है। हमारे वकीलों ने ही लद्दाख (प्रतीक) मुद्दे पर (लोकसभा चुनाव में) हमें जीत दिलाने में मदद की थी।’’

उन्होंने कहा, ‘‘यह संसद में भी होता है। जब प्रणब मुखर्जी राष्ट्रपति थे उस समय मनोनयन हुआ तो यह मोदी सरकार की सलाह पर किया गया और उन्होंने कांग्रेस के सदस्यों को मनोनीत नहीं किया था।’’

नेकां उपाध्यक्ष ने कहा, ‘‘इसलिए, उपराज्यपाल को संविधान को ध्यान में रखना चाहिए और इन पांच सीट को निर्वाचित सरकार की सलाह से भरा जाना चाहिए।’’

सरकार बनाने के लिए चुनाव के बाद नेकां-कांग्रेस गठबंधन में पीडीपी के शामिल होने की अटकलों पर अब्दुल्ला ने कहा कि गठबंधन ने न तो कोई समर्थन मांगा है, न ही उसे अभी तक पीडीपी से कोई समर्थन मिला है।

उन्होंने कहा, ‘‘पहले नतीजे आने दो। अभी किसी के पास संख्या बल नहीं है।’’

शुरुआती रुझानों में नेकां को बढ़त मिलने के बारे में पूछे जाने पर अब्दुल्ला ने कहा कि वह शुरुआती रुझानों पर ध्यान नहीं देते।

उन्होंने कहा, ‘‘पिछली बार (लोकसभा चुनाव में) जब मैं सुबह की सैर के लिए निकाला था, तो शुरुआती रुझानों में मैं जीत रहा था। फिर जब मैं घर पहुंचा, तो स्थिति बदल गई। दोपहर बाद हम बात करेंगे।’’

भाषा

खारी मनीषा

मनीषा


लेखक के बारे में