एअर इंडिया विमान दुर्घटना के मृतकों की पहचान करने की प्रक्रिया नौ दिन बाद भी जारी

एअर इंडिया विमान दुर्घटना के मृतकों की पहचान करने की प्रक्रिया नौ दिन बाद भी जारी

एअर इंडिया विमान दुर्घटना के मृतकों की पहचान करने की प्रक्रिया नौ दिन बाद भी जारी
Modified Date: June 21, 2025 / 08:59 pm IST
Published Date: June 21, 2025 8:59 pm IST

अहमदाबाद, 21 जून (भाषा) अहमदाबाद विमान दुर्घटना के नौ दिन बाद भी कई मृतकों की पहचान करने की प्रक्रिया अभी जारी है और अधिकारियों ने हादसे में जान गंवाने वाले आठ व्यक्तियों के परिवारों से डीएनए जांच के लिए अन्य सगे-संबंधियों का नमूना देने को कहा गया है, क्योंकि पूर्व के नमूने का मिलान नहीं हुआ।

अहमदाबाद के रहने वाले फिल्म निर्माता महेश जीरावाला 12 जून को हुई विमान दुर्घटना के बाद लापता बताए जा रहे थे। डीएनए नमूने के मिलान से पुष्टि हुई कि उनकी मृत्यु दुर्घटना में हुई थी, जिसके बाद उनके पार्थिव शरीर को परिजनों को सौंप दिया गया।

महाराष्ट्र में, दुर्घटनाग्रस्त विमान के चालक दल के सदस्यों में शामिल दीपक पाठक और इरफान शेख को क्रमशः ठाणे जिले के बदलापुर और पुणे शहर के पास पिंपरी-चिंचवड़ में उनके रिश्तेदारों एवं मित्रों ने भावभीनी विदाई दी।

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अधिकारियों ने बताया कि डीएनए मिलान के जरिये अब तक कुल 247 मृतकों की पहचान कर ली गई है और 232 शव उनके परिजनों को सौंप दिए गए हैं।

लंदन जा रहा एअर इंडिया का विमान एआई-171 अहमदाबाद हवाई अड्डा से उड़ान भरने के कुछ ही मिनट बाद दुर्घटनाग्रस्त हो गया था।

विमान में कुल 242 लोग सवार थे। हादसे में, विमान में सवार केवल एक व्यक्ति जीवित बचा। विमान मेघाणी नगर में जिस मेडिकल कॉलेज परिसर में दुर्घटनाग्रस्त हुआ था, वहां मौजूद 29 लोग भी मारे गए थे।

कई शव इतने झुलस गए कि उनकी पहचान नहीं हो पा रही, इसलिए अधिकारी इस भयावह त्रासदी में जान गंवाने वालों की पहचान करने के लिए डीएनए नमूने का मिलान करा रहे हैं।

हालांकि, एक अधिकारी ने बताया कि आठ मृतकों के परिवारों को डीएनए जांच के लिए एक अन्य रिश्तेदार का नमूना देने को कहा गया है, क्योंकि पहले रिश्तेदार के नमूने का मिलान नहीं हुआ।

अहमदाबाद सिविल अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक राकेश जोशी ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि जब तक डीएनए मिलान नहीं हो जाता, शव परिजनों को नहीं सौंपा जा सकता।

उन्होंने कहा, ‘‘जब लंबे समय तक मिलान नहीं हो पाता है, तो आप किसी अन्य रिश्तेदार से दूसरा नमूना मांग सकते हैं। यदि एक सहोदर भाई या बहन ने नमूना दिया था, तो मृतक के डीएनए से मिलान के लिए दूसरे सहोदर भाई या बहन का नमूना मांगा जाता है।’’

जोशी ने कहा, ‘‘हम आम तौर पर पिता या बेटे/बेटी के नमूने को प्राथमिकता देते हैं। अगर उनके नमूने से मिलान नहीं हो पाता है, तो हम किसी अन्य उपलब्ध सदस्य का नमूना लेते हैं।’’

हालांकि, उन्होंने स्पष्ट किया कि इस प्रक्रिया में सहोदर भाई या बहन के नमूने का मिलान हो जाता है।

उन्होंने कहा कि ऐसे कम से कम आठ परिवार हैं, जिनसे लिये पहले नमूने का मिलान नहीं हो पाया है, इसलिए दूसरा नमूना मांगा गया।

जोशी ने बताया, ‘‘शनिवार शाम तक 247 डीएनए नमूने का मिलान हो गया है। इन मृतकों के रिश्तेदारों से संपर्क किया गया है। अब तक 232 मृतकों के अवशेष उनके परिजनों को सौंप दिये गए हैं। यह प्रक्रिया जारी है।’’

उन्होंने बताया कि जिन 247 लोगों की पहचान हुई है, उनमें 187 भारतीय, 52 ब्रिटिश, सात पुर्तगाली नागरिक और एक कनाडाई शामिल हैं। उन्होंने बताया कि 187 भारतीयों में से कुल 175 लोग विमान में सवार थे। वे गुजरात, राजस्थान, महाराष्ट्र, दीव और नागालैंड के रहने वाले थे।

इस बीच, पुलिस ने कहा कि डीएनए नमूनों के मिलान से यह पुष्टि हो गई है कि फिल्म निर्माता जीरावाला की विमान दुर्घटना में मृत्यु हो गई है। उन्होंने कहा कि 34 वर्षीय जीरावाला अपने दोपहिया वाहन पर उस क्षेत्र से गुजर रहे थे, जब लंदन जा रहा विमान मेडिकल कॉलेज के छात्रावास परिसर में दुर्घटनाग्रस्त हुआ था।

सेक्टर 2 के संयुक्त पुलिस आयुक्त जयपाल सिंह राठौर ने कहा कि डीएनए जांच से पुष्टि हुई है कि जीरावाला की मौत विमान दुर्घटना में हुई थी।

उन्होंने कहा कि चूंकि जीरावाला के परिवार के सदस्य अब भी इस बात पर यकीन नहीं कर पा रहे थे, इसलिए पुलिस ने उनके मन से संदेह दूर करने और उन्हें विश्वास दिलाने के लिए सड़क के सीसीटीवी फुटेज और उनके जले हुए स्कूटर जैसे अन्य साक्ष्य एकत्र किए और इस बारे में जानकारी दी।

उन्होंने कहा, ‘‘डीएनए जांच से उनकी पहचान की पुष्टि होने के बाद जीरावाला के परिवार ने शुक्रवार को उनका पार्थिव शरीर लिया। आग में नष्ट हो चुका उनका स्कूटर भी दुर्घटनास्थल के पास से बरामद किया गया। चेसिस और इंजन नंबर भी स्कूटर के पंजीकरण दस्तावेजों से मेल खाते हैं।’’

अधिकारी ने कहा, ‘‘उनके परिवार के संदेह को दूर करने के लिए हमने उस क्षेत्र से सीसीटीवी फुटेज जुटाये, ताकि यह पता लगाया जा सके कि क्या वह वास्तव में उस मार्ग से गुजर रहे थे। उनके मोबाइल फोन का अंतिम लोकेशन दुर्घटना स्थल के करीब पाया गया।’’

दुर्घटना के तुरंत बाद, अहमदाबाद के नरोदा इलाके के निवासी जीरावाला का मोबाइल फोन बंद हो गया और वह घर नहीं लौटे।

पुलिस को सूचित किये जाने के बाद, उसकी जांच में पाया गया कि उनके मोबाइल फोन की अंतिम लोकेशन के अनुसार वह दुर्घटना स्थल से 700 मीटर की दूरी पर थे।

बदलापुर में, दुर्घटनाग्रस्त विमान के चालक दल के सदस्य पाठक का अंतिम संस्कार किया गया। पिछले 11 वर्षों से एअर इंडिया में सेवारत पाठक (34) का शव नौ दिनों की लंबी पहचान प्रक्रिया के बाद उनके परिवार के सदस्यों को सौंपा गया। उनके शव की पहचान डीएनए जांच के माध्यम से हुई।

वहीं,पिंपरी चिंचवड़ में रहने वाले शेख परिवार को शुक्रवार को डीएनए मैच के बाद 22 वर्षीय इरफान के अवशेष मिले थे, जिन्हें तड़के पुणे लाया गया। उनका अंतिम संस्कार नेहरू नगर के कब्रिस्तान में किया गया।

भाषा सुभाष माधव

माधव


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