कैमूरः Sudhakar Singh Viral Video बिहार की आरजेडी-जेडीयू गठबंधन सरकार लगातार विवादों में है, ऐसा इसलिए क्यों कि प्रदेश सरकार के अधिकतर मंत्रियों के खिलाफ अपराधिक मामले दर्ज हैं। मंत्रिमंडल गठबंधन से पहले भी विपक्ष ने इस मुद्दे को जोरशोर से उठाया था। वहीं, बिहार सरकार के मंत्रियों का विवादित बयान भी लगातार सामने आते रहे हैं। इसी बीच नीतीश कुमार सरकार के कृषि मंत्री ने ऐसा बयान दे दिया है, जिसे लेकर सियासी गलियारों में बवाल मचा हुआ है।
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Sudhakar Singh Viral Video मिली जानकारी के अनुसार कृषि मंत्री सुधाकर सिंह सोमवार को कैमूर के चांद प्रखंड में एक कार्यक्रम में शामिल हुए थे। इस दौरान उन्होंने सभा को संबोधित करते हुए अपनी ही सरकार पर कटाक्ष किया। उन्होंने कहा कि हमारे विभाग में कई लोग चोर हैं, ऐसे में हम उन चोरों के सरदार हुए। मंत्री ने यह भी कहा कि हमारे ऊपर भी कई सरदार हैं।
कृषि मंत्री ने आगे यह भी कहा कि हमारे ऊपर भी लोग हैं। उनके सामने मैं अगर बात रखता हूं तो उन लोगों को लगता है मैं अपनी बात कर रहा हूं। जब मैं कैबिनेट में बोलता हूं तो लगाता है कि यह मेरी निजी समस्या है, लेकिन, आप सबलोग जब मिलकर बोलिएगा तब जाकर कान में तेल डालकर बैठे लोगों तक आवाज पहुंचेगी। सुधाकर सिंह ने कहा कि सरकार तो बदल गई है, लेकिन है ये वही पुरानी वाली सरकार. चाल चलन भी पुरानी सरकार जैसी ही है। अफसरों को लगता है राजद वाले घेरेंगे तो उधर दूसरे दल के साथ मिल जाएंगे।
#WATCH | There is not a single wing of our (agriculture) dept that does not commit acts of theft. As I am the in-charge of the department, I become their Sardar (chief)…There are many more people above me: Bihar Agriculture Min S Singh, in Kaimur (12.09)
(Source: Viral video) pic.twitter.com/p6mNVRgr60
— ANI (@ANI) September 13, 2022
सुधाकर सिंह ने कहा, लोकतंत्र में जनता ही मालिक होती है, और जिन अधिकारियों को भ्रम है कि हम लोग कानून तोड़कर बच जाएंगे, मुझे विश्वास है कि वह बच नहीं पाएंगे। बचने के लिए जितनी ताकत लगानी है लगा लें फिर भी वह बचेंगे नहीं. जब मैं सरकार में नहीं था तभी आप लोगों एवं किसानों की समस्याओं को लेकर सड़क से लेकर सदन तक बोला करता था, आज मैं सरकार में हूं तब भी चुप नहीं बैठूंगा। किसानों एवं आम लोगों की समस्याओं से उसे लेकर बोलता ही रहूंगा चाहे इसके लिए मुझे अपनी कुर्सी क्यों नहीं गंवानी पड़े।
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उन्होने आगे कहा, कृषि विभाग के अधिकारियों की स्थिति यह है कि जमीन के बजाय आंकड़े की खेती कागज पर करते हैं। आंकड़ों में बताया गया है कि 87 फीसदी रोपनी हो गई और बारिश महज 40 प्रतिशत कम हुई है, जो की पूरी तरह से फर्जी है। अधिकारी इस कदर भ्रष्ट हैं कि सरकार के सामने रोज गलत आंकड़े पेश करते हैं। खाद की बिक्री से लेकर धान खरीद, माप तोल का लाइसेंस देने सहित दाखिल खारिज तक में घूस लिया जा रहा है।
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उन्होंने आगे कहा, हम लगातार प्रयासरत हैं कि कम से कम हम अपने विभाग में भ्रष्टाचार पर लगाम लगाएं और इसका असर भी आपको आने वाले दिनों में दिखेगा। फिलहाल मैं दो कानूनों को बदलवाने पर लगा हुआ हूं। पहला धान खरीदी के नियम में बदलाव किया जाए। टैक्स के अलावा अन्य एजेंसियों से भी धान की खरीदी की जाए, वहीं मंडी की व्यवस्था पहले की तरह फिर से लागू की जाए।
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