टीआरएस नेता ने उच्च शिक्षण संस्थानों में हिंदी को पढाई का माध्यम बनाने की सिफारिश का विरोध किया

टीआरएस नेता ने उच्च शिक्षण संस्थानों में हिंदी को पढाई का माध्यम बनाने की सिफारिश का विरोध किया

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  • Publish Date - October 12, 2022 / 04:55 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:14 PM IST

हैदराबाद, 12 अक्टूबर (भाषा) तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस) के नेता के टी रामाराव ने संसदीय समिति की इस सिफारिश का बुधवार को विरोध किया कि हिंदी भाषी राज्यों में आईआईटी जैसे प्रौद्योगिकी एवं गैर प्रौद्योगिकी उच्च शिक्षण संस्थानों में पढाई का माध्यम हिंदी तथा देश के अन्य भागों में स्थानीय भाषा होनी चाहिए।

टीआरएस के कार्यकारी अध्यक्ष रामा राव ने ट्वीट किया, ‘‘ भारत की कोई राष्ट्रीय भाषा नहीं है तथा हिंदी कई आधिकारिक भाषाओं में से एक है। आईआईटी और केंद्र सरकार की भर्तियों में हिंदी को अनिवार्य कर राजग सरकार, संघीय भावना को आहत कर रही है। ’’

तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव के बेटे रामा राव ने कहा, ‘‘ भारतीयों के सामने भाषा का विकल्प होना चाहिए और हम हिंदी थोपे जाने के विरूद्ध हैं।’’

वह संसदीय समिति की इस सिफारिश पर प्रतिक्रिया दे रहे थे कि हिंदी भाषी राज्यों में आईआईटी जैसे प्रौद्योगिकी एवं गैर प्रौद्योगिकी उच्च शिक्षण संस्थानों में पढाई का माध्यम हिंदी तथा देश के अन्य भागों में स्थानीय भाषा होनी चाहिए।

भाषा राजकुमार नरेश

नरेश