Vibhajan Vibhishika Smriti Diwas: ‘इतिहास के दुखद अध्याय में अनगिनत…’, विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस बलदानियों को पीएम मोदी ने याद कर दी श्रद्धांजलि
Vibhajan Vibhishika Smriti Diwas: 'इतिहास के दुखद अध्याय में अनगिनत...', विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस बलदानियों को पीएम मोदी
India-Pakistan Partition/Image Source: IBC24
- विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस,
- पीड़ा, साहस और पुनर्निर्माण की स्मृति में समर्पित,
- बलदानियों को पीएम मोदी ने दी श्रद्धांजलि,
नई दिल्ली: Vibhajan Vibhishika Smriti Diwas: 14 अगस्त को विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस के रूप में मनाया जा रहा है ताकि देश आजादी से ठीक पहले हुए विभाजन की त्रासदी और उस दौरान प्रभावित हुए लाखों लोगों की स्मृति को सम्मान दे सके। यह दिन उन अनगिनत पीड़ितों को श्रद्धांजलि अर्पित करने का अवसर है जिन्होंने विभाजन की भयावहता का सामना किया अपनों को खोया और अपने जीवन को दोबारा खड़ा किया।
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Vibhajan Vibhishika Smriti Diwas: 1947 में भारत की आज़ादी के साथ ही देश का विभाजन हुआ जो मानव इतिहास के सबसे बड़े और सबसे दर्दनाक विस्थापनों में से एक माना जाता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस अवसर पर कहा X पर पोस्ट कर लिखा की भारत विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस के माध्यम से उस दुखद अध्याय को याद करता है जिसमें हमारे पूर्वजों ने असहनीय पीड़ा झेली। यह दिन उनके साहस, धैर्य और जीवन के पुनर्निर्माण की प्रेरणादायक कहानियों को नमन करने का अवसर है।
India observes #PartitionHorrorsRemembranceDay, remembering the upheaval and pain endured by countless people during that tragic chapter of our history. It is also a day to honour their grit…their ability to face unimaginable loss and still find the strength to start afresh.…
— Narendra Modi (@narendramodi) August 14, 2025
Vibhajan Vibhishika Smriti Diwas: प्रधानमंत्री ने यह भी कहा कि यह दिवस राष्ट्र को जोड़ने वाले एकता और सद्भाव के मूल्यों को फिर से प्रतिबिंबित करने का समय है और यह हमें यह याद दिलाता है कि हमें अपने अतीत से सीख लेकर एक समावेशी और सशक्त भारत की ओर बढ़ना है। विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस न केवल पीड़ितों के बलिदान और संघर्ष को स्मरण करने का दिन है बल्कि यह देशवासियों को यह जिम्मेदारी भी सौंपता है कि वे ऐसे किसी भी सामाजिक विभाजन को दोहराने से रोकें और भाईचारे को मज़बूत करें।

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