Jamtara Cyber Gang: छत्तीसगढ़ में ठगी करना पड़ा महंगा! 1.15 करोड़ की साइबर ठगी करने वाला जामताड़ा गैंग दबोचा, मास्टरमाइंड समेत 6 गिरफ्तार

Jamtara Cyber Gang: छत्तीसगढ़ में ठगी करना पड़ा महंगा! 1.15 करोड़ की साइबर ठगी करने वाला जामताड़ा गैंग दबोचा, मास्टरमाइंड समेत 6 गिरफ्तार

  • Reported By: Naresh Mishra

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  • Publish Date - July 3, 2025 / 09:02 PM IST,
    Updated On - July 3, 2025 / 09:02 PM IST

Jamtara Cyber Gang | Image Source | IBC24

HIGHLIGHTS
  • जगदलपुर में साइबर ठगी भारी पड़ी,
  • अंतरराज्यीय गिरोह का भंडाफोड़,
  • मास्टरमाइंड समेत 6 गिरफ्तार,

जगदलपुर : Jamtara Cyber Gang:  बस्तर पुलिस ने एक साइबर ठगी के मामले में कार्रवाई करते हुए एक अंतरराज्यीय साइबर ठग गिरोह का पर्दाफाश किया है। दरअसल जामताड़ा से संचालित हो रहे इस साइबर ठग गिरोह को बस्तर के एक युवक को ठगना भारी पड़ गया। बस्तर पुलिस कुछ इस कदर इस गिरोह के पीछे पड़ी कि 46 मामलों में आरोपी और 1 करोड़ 15 लाख रुपये की ठगी को अंजाम देने वाले मास्टरमाइंड ठग को सलाखों के पीछे भेज दिया गया।

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Jamtara Cyber Gang:  बस्तर पुलिस को साइबर ठगी के इस मामले में बड़ी कामयाबी मिली है। पुलिस ने मुंबई पुलिस के सहयोग से मुंबई में दो शातिर ठगों और गिरोह के एक अन्य सदस्य को गिरफ्तार किया है। इनमें मोहम्मद अंसारी अलीमुद्दीन अंसार उर्फ अलीम, निवासी झारखंड (जामताड़ा) और राजकुमार गौतम, निवासी उत्तर प्रदेश को मुंबई से गिरफ्तार किया गया।

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Jamtara Cyber Gang:  आरोपियों के कब्जे से पुलिस ने करीब 56 एटीएम कार्ड, 08 मोबाइल फोन और 92,000 रुपये नगद बरामद किए हैं। बता दें कि साइबर ठग गिरोह ने बेहद शातिर तरीके से जगदलपुर के पीड़ित के मोबाइल में APK फ़ाइल डाउनलोड करवा कर बैंक खाते में सेंधमारी की और साढ़े सात लाख रुपये की ठगी को अंजाम दिया था। बस्तर पुलिस ने इस मामले के मास्टरमाइंड अब्दुल मजीद, निवासी झारखंड (जामताड़ा) और अन्य दो लोगों को पहले ही गिरफ्तार कर लिया था। अब तक इस मामले में कुल 6 लोगों की गिरफ्तारी हो चुकी है।

"साइबर ठगी" क्या होती है और इससे कैसे बचा जा सकता है?

साइबर ठगी एक ऐसा अपराध है जिसमें ठग इंटरनेट, कॉल, मैसेज या ऐप के माध्यम से लोगों को धोखा देकर उनके बैंक खातों से पैसे निकाल लेते हैं। इससे बचने के लिए अनजान लिंक, कॉल या APK फाइल को डाउनलोड न करें और कभी भी OTP या बैंक जानकारी किसी को न दें।

"साइबर ठगी" क्या होती है और इससे कैसे बचा जा सकता है?

साइबर ठगी एक ऐसा अपराध है जिसमें ठग इंटरनेट, कॉल, मैसेज या ऐप के माध्यम से लोगों को धोखा देकर उनके बैंक खातों से पैसे निकाल लेते हैं। इससे बचने के लिए अनजान लिंक, कॉल या APK फाइल को डाउनलोड न करें और कभी भी OTP या बैंक जानकारी किसी को न दें।

"साइबर ठगी" क्या होती है और इससे कैसे बचा जा सकता है?

साइबर ठगी एक ऐसा अपराध है जिसमें ठग इंटरनेट, कॉल, मैसेज या ऐप के माध्यम से लोगों को धोखा देकर उनके बैंक खातों से पैसे निकाल लेते हैं। इससे बचने के लिए अनजान लिंक, कॉल या APK फाइल को डाउनलोड न करें और कभी भी OTP या बैंक जानकारी किसी को न दें।

क्या मोबाइल में "APK फ़ाइल" डाउनलोड करना "साइबर ठगी" का कारण बन सकता है?

जी हां, कई बार ठग आपको एक फ़र्जी APK फ़ाइल भेजते हैं जिसे डाउनलोड करने से वे आपके मोबाइल और बैंक डिटेल्स पर कंट्रोल पा लेते हैं। इसलिए केवल भरोसेमंद ऐप्स ही डाउनलोड करें।

"साइबर ठगी" से संबंधित शिकायत दर्ज करने के लिए कौन-कौन से दस्तावेज़ जरूरी होते हैं?

शिकायत के साथ आपको ट्रांजैक्शन डिटेल्स, कॉल/मैसेज स्क्रीनशॉट, बैंक स्टेटमेंट, मोबाइल नंबर और आधार/पहचान पत्र की कॉपी जमा करनी होती है।