दंगाइयों पर नकेल: महंगी चीज तोड़ी तो महंगी पड़ेगी जुर्माने की राशि, संपत्ति का नुकसान करने वालों की खैर नहीं

दंगे, तोड़फोड़ या अन्य वजहों से सरकारी या निजी संपत्तियों को होने वाले नुकसान की भरपाई वाले नियम तय हो गए हैं। इसमें क्लेम ट्रिब्यूनल को यह अधिकार दे दिया गया है कि किसी के घर, दुकान, दफ्तर या अन्य संपत्ति में धातुओं से जुड़ी चीज के साथ संगमरमर की टाइल्स को नुकसान हुआ है तो उसका पैसा भी बाजार दर से लौटाया जाएगा। If expensive things are broken, the amount of fine will be expensive

दंगाइयों पर नकेल: महंगी चीज तोड़ी तो महंगी पड़ेगी जुर्माने की राशि, संपत्ति का नुकसान करने वालों की खैर नहीं

Crackdown on rioters

Modified Date: November 29, 2022 / 07:50 pm IST
Published Date: May 1, 2022 2:40 pm IST

भोपाल। right to the Claims Tribunal: दंगे, तोड़फोड़ या अन्य वजहों से सरकारी या निजी संपत्तियों को होने वाले नुकसान की भरपाई वाले नियम तय हो गए हैं। इसमें क्लेम ट्रिब्यूनल को यह अधिकार दे दिया गया है कि किसी के घर, दुकान, दफ्तर या अन्य संपत्ति में धातुओं से जुड़ी चीज के साथ संगमरमर की टाइल्स को नुकसान हुआ है तो उसका पैसा भी बाजार दर से लौटाया जाएगा।

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इसमें छत के निर्माण, दरवाजे, खिड़कियों को बनाने में इस्तेमाल किए गए स्टील, लोहे, एल्यूमीनियम, कांच, महंगी लकड़ी, पत्थर या अन्य वस्तु भी शामिल है। ट्रिब्यूनल बाजार दरों से नुकसान की भरपाई कराएगा। यह नियम तब अधिसूचित हुए हैं, जब खरगोन दंगों के बाद एक ट्रिब्यूनल मौके पर पहुंचकर पीड़ित पक्ष के आवेदन लेने में लगा है।

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मध्य प्रदेश लोक एवं निजी संपत्ति को नुकसान का निवारण एवं नुकसानी की वसूली नियम 2022 में ट्रिब्यूनल को मिलने वाले अधिकार भी साफ कर दिए गए हैं। साथ ही राज्य सरकार भी चाहे तो एक ही घटना पर एक से अधिक ट्रिब्यूनल तय मियाद तक बना सकेगी। लेकिन कोई भी ट्रिब्यूनल एक सदस्यीय नहीं होगा।

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ट्रिब्यूनल के फैसले के बाद यदि संपत्ति को नुकसान पहुंचाने वाला भरपाई नहीं करता तो कलेक्टर की जवाबदारी होगी कि वह हर्जाने की रकम समय पर दिलवाए। सरकारी संपत्ति के नुकसान के मामले में राजपत्रित अधिकारी को मूल्यांकनकर्ता नियुक्त किया जाएगा।


लेखक के बारे में

डॉ.अनिल शुक्ला, 2019 से CG-MP के प्रतिष्ठित न्यूज चैनल IBC24 के डिजिटल ​डिपार्टमेंट में Senior Associate Producer हैं। 2024 में महात्मा गांधी ग्रामोदय विश्वविद्यालय से Journalism and Mass Communication विषय में Ph.D अवॉर्ड हो चुके हैं। महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय वर्धा से M.Phil और कुशाभाऊ ठाकरे पत्रकारिता एवं जनसंचार विश्वविद्यालय, रायपुर से M.sc (EM) में पोस्ट ग्रेजुएशन किया। जहां प्रावीण्य सूची में प्रथम आने के लिए तिब्बती धर्मगुरू दलाई लामा के हाथों गोल्ड मेडल प्राप्त किया। इन्होंने गुरूघासीदास विश्वविद्यालय बिलासपुर से हिंदी साहित्य में एम.ए किया। इनके अलावा PGDJMC और PGDRD एक वर्षीय डिप्लोमा कोर्स भी किया। डॉ.अनिल शुक्ला ने मीडिया एवं जनसंचार से संबंधित दर्जन भर से अधिक कार्यशाला, सेमीनार, मीडिया संगो​ष्ठी में सहभागिता की। इनके तमाम प्रतिष्ठित पत्र पत्रिकाओं में लेख और शोध पत्र प्रकाशित हैं। डॉ.अनिल शुक्ला को रिपोर्टर, एंकर और कंटेट राइटर के बतौर मीडिया के क्षेत्र में काम करने का 15 वर्ष से अधिक का अनुभव है। इस पर मेल आईडी पर संपर्क करें anilshuklamedia@gmail.com