Sheopur News: एंबुलेंस बनी तमाशा और मानवता हुई शर्मसार, बीमार व्यक्ति को ठेले पर अस्पताल लेकर पहुंचे परिजन, वीडियो देख चौंक जाएंगे आप
Sheopur News: श्योपुर जिले की कराहल तहसील से स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही का एक हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है।
Sheopur News/Image Credit: IBC24
- श्योपुर जिले की कराहल तहसील में मानवता हुई शर्मसार।
- एंबुलेंस नहीं मिलने के कारण बीमार व्यक्ति को ठेले पर अस्पताल लेकर पहुंचे परिजन।
- वायरल हुआ भावुक कर देने वाला वीडियो।
Sheopur News: श्योपुर: सिस्टम की नाकामी या फिर स्वास्थ्य विभाग सुविधाओ के नाम पर ठेंगा बनी एंबुलेंस जो हॉस्पिटल के बाहर खड़ी तो है, लेकिन मरीज को लाने ले जाने के लिए उपलब्ध नहीं। श्योपुर जिले की कराहल तहसील से स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही का एक हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है। यहां स्वास्थ्य सेवाओं की हकीकत उस वक्त उजागर हो गई जब एक बीमार व्यक्ति को अस्पताल तक ठेले पर ले जाना पड़ा।
घायल को ठेले पर लादकर अस्पताल पहुंचे परिजन
Sheopur News: दरअसल, कराहल के एक गरीब परिवार का सदस्य गंभीर रूप से चोटिल हो गया था। परिजनों ने उसे अस्पताल पहुँचाने के लिए एंबुलेंस को पूरे 2 घंटे पहले फोन किया, लेकिन वहां से जवाब मिला एंबुलेंस फ्री नहीं है। मज़बूरी में परिजनों ने काफी देर तक इंतजार किया। इसके बाद इंसानियत की अंतिम उम्मीद ठेले में ढूंढी और घायल को हाथ ठेले पर लिटाकर करीब 2 किलोमीटर दूर कराहल के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र तक पहुँचाया। परिजन जब घायल को लेकर अस्पताल पहुँचे तो नज़ारा देखकर हर कोई दंग रह गया। अस्पताल परिसर में दो एंबुलेंस खड़ी हुई थीं।
अस्पताल में थी दो-दो एंबुलेंस
Sheopur News: यह घटना न सिर्फ स्वास्थ्य व्यवस्था की पोल खोलती है, बल्कि यह सवाल भी खड़ा करती है कि गरीबों की जान आखिर कब तक सरकारी लापरवाही की कीमत चुकाती रहेगी। अगर एंबुलेंसें उपलब्ध थीं, तो फिर मरीज को ठेले पर क्यों लादना पड़ा। बहरहाल अस्पताल में अक्सर एंबुलेंस चालक मनमानी करते हैं और अधिकारी सिर्फ कागज़ी जांच तक ही सीमित रहते हैं। कभी.कभी एंबुलेंस चालकों द्वारा मरीज को लाने ले जाने या फिर रेफर करने में भी पैसों की मांग की जाती है जिसकी भी कई बार शिकायत हुई लेकिन आज तक इन शिकायत तो पर कभी कोई कार्रवाई नहीं हुई। अब देखना यह होगा कि इस मानवता को शर्मसार करने वाले मामले पर प्रशासन क्या कार्रवाई करता है, या फिर यह खबर भी फाइलों में धूल या जांच के नाम पर पन्ने पलटते रहेगी।

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